30 नवंबर को लगेगा इस साल का अंतिम चंद्र ग्रहण
हरिद्वारा। 2020 का अंतिम चंद्र ग्रहण 30 नवंबर यानी सोमवार को लगेगा। इस चंद्र ग्रहण को उपच्छाया चंद्र ग्रहण कहते हैं। इसलिए इस बार सूतक नहीं लगेगा और ना ही मूर्ति स्पर्श की मनाई होगी। यह चंद्र ग्रहण किसी भी राशि पर अपना प्रभाव नहीं डालेगा। भारत में यह चंद्र ग्रहण नहीं दिखाई देगा। ईरान, इराक सहित कई मुस्लिम देशों पर इस चंद्र ग्रहण का प्रभाव देखने को मिलेगा। चंद्र ग्रहण के बारे में चंद्र और सूर्य ग्रहण, इसका पुराण और ग्रंथों में वर्णन मिलता है। इसकी एक कहानी है कि जब समुद्र मंथन के दौरान देवों और दानवों में समुद्र से निकले अमृत कलश को लेकर विवाद हुआ था। तो भगवान विष्णु ने मोहिनी का रूप धारण करके देवता और असुरों को अलग-अलग बैठा दिया था। भगवान विष्णु देवताओं को अमृत पान कराने लगे, लेकिन धोखे से राहु ने अमृत चख लिया। तब चंद्रमा और सूर्य ने ये बात विष्णु को बताई और विष्णु ने सुदर्शन चक्र से राहु का सिर धड़ से अलग कर दिया था, लेकिन अमृत चखने की वजह से वह मरा नहीं और उसका सिर वाला भाग राहु और धड़ वाला भाग केतु के नाम से जाना गया। इसी वजह से राहु और केतु सूर्य और चंद्रमा को अपना शत्रु मानते हैं