दून मेडिकल काॅलेज अस्पताल में व्याप्त अव्यवस्था को लेकर सौंपा ज्ञापन



देहरादून। समाजसेवी योगेंद्र सिंह चैहान के नेतृत्व में मुख्य चिकित्सा अधिकारी देहरादून व प्राचार्य दून मेडिकल कॉलेज देहरादून को ज्ञापन दिया गया। ज्ञापन में कहा गया है कि उत्तराखंड की राजधानी देहरादून के अस्पतालों की स्थिति बेहद दयनीय है। योगेन्द्र सिंह चैहान के किसी परिचित को कोरोना होने पर उन्हें दून अस्पताल मे भर्ती किया गया, मरीज के द्वारा कुछ वीडियो भेजी गई है जिसमे साफ साफ दिख रहा है कि एक बुजुर्ग महिला को अस्पताल में लाकर ऐसे फेंक दिया जाता है जैसे कि वह कोरोना नहीं बल्कि किसी छुआछूत की बीमारी से जूझ रही हो।
बुजुर्ग महिला को स्टाफ द्वारा बेड पर लेटाया भी नहीं गया। उन्हें ऐसे ही छोड़ दिया, वीडियो में साफ दिख रहा है महिला ने कपड़ों में ही पेशाब कर रखा है व महिला को सांस लेने में भी परेशानी हो रही है, साथ ही एक वीडियो में मरीजांे के लिए जो खाना आया हुआ है उस खाने में मरा हुआ कीड़ा पड़ा हुआ है। यदि कोई इसकी शिकायत करता है तो अस्पताल के कर्मचारियों का रवैया बहुत ही निन्दनीय है। ज्ञापन में उन्होंने बताया कि देहरादून के निजी अस्पतालों ने कोरोना महामारी के नाम पर काला बाजारी खोल रखी है, निजी अस्पताल मंे यदि कोई कोरोना मरीज पोजिटिव आ जाता है तो अस्पताल की एम्बुलेंस मरीज को दून हॉस्पिटल पहंुचाने के चार से पांच हजार तक लेते है व अन्य चार्ज जैसे पीपी किट का चार्ज अलग से। सभी मरीजो से दो हजार रुपये ले रहे है जबकि पूरे दिन में एक स्टाफ अपनी ड्यूटी के दौरान एक पी पी किट पहन कर ही सभी मरीजांे को देखता है। ज्ञापन को संज्ञान में लेकर मुख्य चिकित्सक अधिकारी व प्राचार्य दून मेडिकल कॉलेज ने जल्द उचित कार्यवाही करने की बात कही है। ज्ञापन देने वालांे में फारूक राव, सुनील रावत, अरुण महानवा, अखिलेश क्षेत्री, अब्दुल समद आदि लोग मौजूद रहे।


Popular posts from this blog

व्यंजन प्रतियोगिता में पूजा, टाई एंड डाई में सोनाक्षी और रंगोली में काजल रहीं विजेता

नेशनल एचीवर रिकॉग्नेशन फोरम ने विशिष्ट प्रतिभाओं को किया सम्मानित

शिक्षा अधिकारियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने को एसएसपी को भेजा पत्र, DG शिक्षा से की विभागीय कार्रवाई की मांग