Monday, 30 September 2019

दिव्य और भव्य होगा हरिद्वार महाकुम्भ 2021ः सीएम TSR



देहरादून, गढ़ संवेदना । मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने वर्ष 2021 में हरिद्वार में होने वाले महाकुम्भ की तैयारियों में तेजी लाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा है कि महाकुम्भ की व्यवस्थाएं, इसकी दिव्यता और भव्यता के अनुरूप हों। महाकुम्भ में देश-विदेश से आने वाले करोड़ों श्रद्धालुओं के लिए हर आवश्यक सुविधा जुटाई जाए। सुरक्षा में किसी तरह की चूक की गुंजाईश नहीं रहनी चाहिए। इसके लिए भीड़ प्रबंधन की जो भी प्लानिंग की जाए, उसे बार-बार परख भी लिया जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि वे स्वयं महाकुम्भ की तैयारियों पर नजर रख रहे हैं। समय-समय पर तैयारियों के स्थलीय निरीक्षण के साथ इसकी समीक्षा भी करते रहेंगे।

हरिद्वार महाकुम्भ 2021, दुनिया का सबसे बड़ा धार्मिक व आध्यात्मिक मेला होगा। वैश्विक स्तर के इस मेले में दुनिया भर के देशों से करोड़ों श्रद्धालु आएंगे। इसमें किसी भी स्तर पर कोई लापरवाही क्षम्य नहीं हो सकती है। मुख्यमंत्री ने शासन स्तर पर भी महाकुम्भ की तैयारियों की नियमित मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने, कुम्भ मेलाधिकारी को दैनिक तौर पर तैयारियों का स्थलीय निरीक्षण करने को कहा है। शासन स्तर से किसी भी तरह की आवश्यकता होने पर तत्काल अवगत कराया जाए। महाकुम्भ की तैयारियों में संत महात्माओं का मार्गदर्शन लेना सुनिश्चित किया जाए। मुख्यमंत्री ने कहा है कि स्थाई प्रकृति के काम अक्टूबर 2020 तक पूरे कर लिए जाएं। समयबद्धता और गुणवत्ता सुनिश्चित की जाए। इस वैश्विक मेले में बड़ी संख्या में आने वाले श्रद्धालु, राज्य के दूसरे पर्यटन स्थलों में भी जा सकते हैं, इसलिए कुम्भ मेले के दौरान लोगों को प्रदेश के पर्यटन स्थलों की जानकारी देने के लिए पर्यटन सूचना केंद्र स्थापित किए जाएं। तमाम तरह की सुविधाएं विकसित करने मे आधुनिकतम तकनीक का प्रयोग किया जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि सुरक्षा व भीड़ प्रबंधन मे तैनात किए जाने वाले पुलिसकर्मियों का व्यवहार कुशल होना जरूरी है। सुरक्षा के लिए हर आवश्यक व्यवस्था समय से कर ली जाए। रेलवे व निकटवर्ती दूसरे राज्यों के अधिकारियों से समन्वय रखा जाए। स्नान घाटों सहित पूरे कुम्भ क्षेत्र में सफाई की पूरी व्यवस्था रहे। श्रद्धालुओं के लिए स्वास्थ्य, पेयजल, पार्किंग, आवास व शौचालय की सम्पूर्ण सुविधा रहनी चाहिए।


दून का चिल्लीज प्रीमियम रेस्टोरेन्ट उत्तराखंड का पहला सिंगल यूज प्लास्टिक फ्री रेस्टोरेंट बना


देहरादून, गढ़ संवेदना । दून का चिल्लीज प्रीमियम रेस्टोरेन्ट उत्तराखंड का पहला सिंगल यूज प्लास्टिक फ्री रेस्टोरेंट बना। प्लास्टिक फ्री  दिशा में कदम बढ़ाते हुए राजधानी देहरादून में चिल्लीज प्रीमियम रेस्टोरेंट ने एक सराहनीय और प्रेरणादायक कदम उठाया है। नेहरु कॉलोनी स्थित इस रेस्टोरेंट ने खुद को सिंगल यूज प्लास्टिक से पूरी तरह मुक्त घोषित कर लिया है। इसी तरह के कदम यदि अन्य रेस्टोरेंट, होटल और व्यापारिक प्रतिष्ठान उठाने शुरु कर दें तो निश्चित रूप से अपना देहरादून प्लास्टिक  मुक्त हो सकता है।  


रविवार को रेस्टोरेंट की पहली वर्षगांठ के मौके पर आयोजित समारोह के साथ ही रेस्टोरेंट ने अपने प्लास्टिक मुक्ति के संकल्प पर अमल प्रारंभ कर दिया है। इस मौके पर रेस्टोरेंट में एक परिचर्चा का आयोजन भी किया गया। इस परिचर्चा में वक्ताओं द्वारा प्लास्टिक मुक्ति की दिशा में चिल्लीज प्रीमियम रेस्टोरेंट द्वारा उठाए गए कदम की मुक्त कंठ से प्रशंसा की गई और अन्य रेस्टोरेंट, होटलों व व्यापारिक प्रतिष्ठानों से भी इस मुहिम को आगे बढ़ाने की अपील की गई। इस परिचर्चा में देहरादून नगरनिगम के मेयर सुनील उनियाल गामा ने बतौर मुख्य अथिति प्रतिभाग किया। उन्होंने कहा कि हम प्लास्टिक मुक्ति आंदोलन को एक जनांदोलन के रूप में रूप में आगे बढ़ाना चाहते हैं। जिसके तहत शहर का हर नागरिक  प्लास्टिक पाॅलीथिन मुक्ति की दिशा में कदम उठाए। उन्होंने नगर निगम द्वारा उठाए जा रहे कदमों की भी जानकारी दी। इस परिचर्चा में गति फाउंडेशन के संस्थापक अनूप नौटियाल, डिस्ट्रिक्ट फूड सेफ्टी अफसर गणेश चंद्र कंडवाल और वरिष्ठ पत्रकार संजीव कंडवाल आदि ने प्रतिभाग किया। मेयर सुनील उनियाल गामा ने रेस्टोरेंट की पहल का स्वागत करते हुए, इसे प्लास्टिक मुक्त देहरादून की दिशा में अहम कदम बताया। मेयर ने अन्य होटल, रेस्टोरेंट संचालकों को इस पहल से जुड़ने को कहा। चिल्लीज प्रीमियम रेस्टोरेंट के संचालक सचिन नारंग एवं हरित राय राणा ने कहा कि अपने ग्राहकों और शहरवासिायों की सेहत का ख्याल रखते हुए हमने सिंगल यूज प्लास्टिक पैकिंग को बन्द किया है। गति फाउंडेशन के संस्थापक अनूप नौटियाल ने प्लास्टिक के खतरों के प्रति आगाह किया और प्लास्टिक का उपयोग बंद करने की दिशा में कई महत्वपूर्ण सुझाव दिए। इस परिचर्चा का संचालन संजीव कंडवाल ने किया। कार्यक्रम में समाजसेवी सीताराम भट्ट, विष्णु भट्ट एवं जतिन नारंग आदि शामिल हुए।


-------------------------------------------------------------


पहली बार 42 प्रतिभागी करेंगे रियल्टी शो में प्रतिभाग


-एमटीवी और एमटीवी बीट्स पर होगा आयोजन

देहरादून। देश का पहला मॉडलिंग हंट कम रियल्टी शो मिस्टर एंड मिस सेवन स्टेट्स टीवी पर आने का तैयार है। शो एमटीवी और एमटीवी बीट्स पर प्रसारित किया जाएगा। यह पहली बार होगा जब एक तकरीबन 42 प्रतिभागी एक साथ किसी रियल्टी शो का हिस्सा बनेंगे। 

सोमवार को राजपुर रोड स्थित पब आफ इंडिया में आयोजित हुई प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए फाइव फेसेज एंटरटेनमेंट प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक वसीम राजा कुरैशी ने बताया कि मिस्टर एंड मिस सेवन स्टेट्स पावर्ड बाई रिलिफियोन देश का पहला मॉडलिंग हंट कम रियल्टी शो है। शो फाइव फेसेज और कुरैशी प्रोडक्शंस के संयुक्त तत्वाधान में आयोजिम किया गया। शो का प्रसारण एमटीवी और एमटीवी बीट्स पर किया जाएगा। शो 21 अक्टूबर से दोनों टीवी चैनलों पर प्रसारित किया जाएगा। एमटीवी पर रात 11 बजे और एमटीवी बीट्स पर रात 12 बजे कार्यक्रम को प्रसारित किया जाएगा। उन्होंने बताया कि शो को लेट आवर्स में प्रसारित करने का मकसद युवाओं को जोड़ना है। कहा कि दरअसल अभी तक प्राइम टाइम में जो शो प्रसारित किए जा रहे हैं, वे सभी हर आयुवर्ग से संबंधित हैं। लेकिन, सेवन स्टेट्स पूरी तरह से युवाओं को केंद्रित करते हुए तैयार किया गया है। यही कारण है कि शो का प्रसारण भी अन्य कार्यक्रमों के प्रसारित होने के बाद रखा गया है। 21 एपिसोड को होगा शो निदेशक वसीम राज कुरैशी ने बताया कि शो का प्रसारण सोमवार से शुक्रवार तक रहेगा। कार्यक्रम 21 एपिसोड का होगा। कार्यक्रम में एक ओर जहां प्रतिभागियों को टास्क के जरिए अपनी शारीरिक और मानसिक योग्यता दिखाने का मौका मिला है, वहीं दूसरी और ग्रूमिंग सेशन और एंटरटेनमेंट सेशन में अपनी छिपी प्रतिभा का निखारने का मौका। बताया कि 20 दिन टास्ट, ग्रूमिंग और एंटरटेनमेंट सेशन के बाद 21वें दिन ग्रैंड फिनाले का आयोजन देहरादून के राजीव गांधी एंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम में किया गया था। फिनाले में फिल्म अभिनेता सोनू सूद, मुग्धा गौडसे, मिस्टर वल्र्ड 2016 रोहित खंडेलवाल, मिस इंडिया ग्रैंड इंटरनेशनल अनुकृति गुसांई और निदेशक फाइव फेसेज वसीम राजा कुरैशी बतौर निर्णायक मौजूद रहे। इसके अलावा फिनाले में सपना चैधरी, अर्शी खान, गायक एंकी आदि ने अपनी शानदार प्रस्तुतियां भी दी। बताया कि फिनाले के 21वें एपिसोड में ही विनर्स का अनाउंसमेंट किया जाएगा। प्रेस वार्ता में फाइव फेसेज के निदेशक अनिल उपाध्याय, विनायक शर्मा, श्वेता चैधरी, अभिषेक खेड़ा, शो के लेखक रवि प्रियांशु, जेस्ट प्रोडक्शंस से आदेश (प्रशस्त) उपाध्याय आदि मौजूद रहे।

Sunday, 29 September 2019

यहां रात में अप्सराएं मां के दरबार में करती हैं नृत्य और गायन


देहरादून। मां चंद्रबदनी का मंदिर उत्तराखंड के सिद्धपीठों में से एक है। चंद्रबदनी सिद्धपीठ टिहरी जिले के हिंडोलाखाल विकासखंड में चंद्रकूट पर्वत पर समुद्र तल से 8000 फुट की ऊंचाई पर स्थित है। चंद्रकूट पर्वत पर रात में गंधर्व, अप्सराएं मां के दरबार में नृत्य और गायन करती हैं।


श्री चंद्रबदनी सिद्धपीठ की स्थापना की पौराणिक कथा मां सती से जुड़ी हुई है। एक बार सती के पिता राजा दक्ष ने यज्ञ का आयोजन किया, जिसमें उन्होंने भगवान शंकर को छोड़ देवता, ऋषि, मुनि, गंधर्व सभी को आमंत्रित किया। सती ने भगवान शंकर से वहां साथ जाने की इच्छा जाहिर की। भगवान शंकर ने उन्हें वहां न जाने की सलाह दी, परंतु वह मोहवश अकेली चली गईं।
सती की मां के अलावा किसी ने भी वहां सती का स्वागत नहीं किया। यज्ञ मंडप में भगवान शंकर को छोड़कर सभी देवताओं का स्थान था। सती ने भगवान शंकर का स्थान न होने का कारण पूछा तो राजा दक्ष ने उनके बारे में अपमानजनक शब्द सुना डाले। जिस पर गुस्से में सती यज्ञ कुंड में कूद गईं। सती के भस्म होने का समाचार पाकर भगवान शिव वहां आए और दक्ष का सिर काट दिया। भगवान शिव विलाप करते हुए सती का जला शरीर कंधे पर रख कर तांडव करने लगे। उस समय प्रलय जैसी स्थिति आ गई। सभी देवता शिव को शांत करने के लिए भगवान विष्णु से आग्रह करने लगे। तब भगवान विष्णु ने अपना अदृश्य सुदर्शन चक्र शिव के पीछे लगा दिया। जहां-जहां सती के अंग गिरे वे स्थान शक्तिपीठ कहलाए। मान्यता है कि चंद्रकूट पर्वत पर सती का बदन (शरीर) गिरा, इसलिए यहां का नाम चंद्रबदनी पड़ा। कहते हैं कि आज भी चंद्रकूट पर्वत पर रात में गंधर्व, अप्सराएं मां के दरबार में नृत्य और गायन करती हैं। यहां के पुजारी बताते हैं, मंदिर में मूर्त नहीं, श्रीयंत्र है। रावल यानी पुजारी भी आंखें बंदकर या नजरें झुकाकर श्रीयंत्र पर कपड़ा डालते हैं। मान्यता है कि यदि आंखें बंद न हों तो चुंधिया जाएंगी। गर्भगृह में एक शिला के ऊपर उत्कीर्ण यंत्र पर चांदी का छत्र अवस्थित है। कहा यह भी जाता है कि आदिगुरु शंकराचार्य ने श्रीयंत्र से प्रभावित होकर चंद्रकूट पर्वत पर चंद्रबदनी मंदिर की स्थापना की थी। चंद्रबदनी सिद्धपीठ ऋषिकेश से देवप्रयाग के रास्ते यहां पहुंचा जा सकता है। देवप्रयाग-टिहरी मोटर मार्ग पर करीब 28 किलोमीटर की दूरी पर पहाड़ी कस्बा जामणीखाल है, जहां से ऊपर की ओर कच्ची सड़क है। यहां का सफर हर किसी के लिए यादगार बन जाता है। ऊंची पहाडिय़ों और घने जंगलों से गुजरते हुए कुदरती नजारे मुग्ध कर देते हैं। मंदिर के निकट यात्रियों के विश्राम और भोजन की समुचित व्यवस्था है। वैसे तो हर दिन दूर-दूर से श्रद्धालु यहां आते हैं, पर नवरात्रों में श्रद्धालुओं की संख्या हजारों में पहुंच जाती है। अप्रैल महीने में हर साल यहां मेला लगता है, जिसमें हजारों श्रद्धालु माता के जयकारे लगाते पैदल मार्ग से यहां पहुंचते हैं। यहां की महिमा अपरंपार है। मान्यता है कि यहां आने वालों की हर मुराद पूरी होती है।
जनश्रुति है कि आदि जगत गुरु शंकराचार्य जी ने श्रीनगरपुरम् (श्रीनग) जो श्रृंगीऋषि की तपस्थली भी रही है, श्रीयंत्र से प्रभावित होकर अलकनन्दा नदी के दाहिनी ओर उतंग रमणीक चन्द्रकूट पर्वत पर चन्द्रबदनी शक्ति पीठ की स्थापना की थी। मंदिर में चन्द्रबदनी की मूर्ति नहीं है। देवी का यंत्र (श्रीयंत्र) ही पुजारीजन होना बताते हैं। मंदिर गर्भ गृह में एक शिला पर उत्कीर्ण इस यंत्र के ऊपर एक चाँदी का बड़ा छत्र अवस्थित किया गया है। पद्मपुरण के केदारखण्ड में चन्द्रबदनी का विस्तृत वर्णन मिलता है। मंदिर पुरातात्विक अवशेष से पता चलता है कि यह मंदिर कार्तिकेयपुर, बैराठ के कत्यूरी व श्रीपुर के पँवार राजवंशी शासनकाल से पूर्व स्थापित हो गया होगा। इस मंदिर में किसी भी राजा का हस्तक्षेप होना नहीं पाया जाता है। सोलहवीं सदी में गढ़वाल में कत्यूरी साम्राज्य के पतन के पश्चात् ऊचूगढ़ में चैहानों का साम्राज्य था। उन्हीं के पूर्वज नागवंशी राजा चन्द्र ने चन्द्रबदनी मंदिर की स्थापना की थी। जनश्रुति के आधार पर चाँदपुर गढ़ी के पँवार नरेश अजयपाल ने ऊचूगढ़ के अन्तिम राजा कफू चैहान को परास्त कर गंगा के पश्चिमी पहाड़ पर अधिकार कर लिया था। तभी से चन्द्रकूट पर्वत पर पँवार राजा का अधिपत्य हो गया होगा। 1805 ई0 में गढ़वाल पर गोरखों का शासन हो गया। तब चन्द्रबदनी मंदिर में पूजा एवं व्यवस्था निमित्त बैंसोली, जगठी, चैंरा, साधना, रित्वा, गोठ्यार, खतेली, गुजेठा, पौंसाड़ा, खाखेड़ा, कोटी, कंडास, परकण्डी, कुनडी आदि गाँवों की भूमि मिली थी।
चन्द्रबदनी मंदिर बांज, बुरांस, काफल, देवदार, सुरई, चीड़ आदि के सघन सुन्दर वनों एवं कई गुफाओं एवं कन्दराओं के आगोश में अवस्थित है। चन्द्रबदनी में पहुँचने पर आध्यात्मिक शान्ति मिलती है। अथाह प्राकृतिक सौन्दर्य, सुन्दर-सुन्दर पक्षियों के कलरव से मन आनन्दित हो उठता है। चित्ताकर्ष एवं अलौकिक यह मंदिर उत्तराखण्ड के मंदिरों में अनन्य है। यहाँ से चैखम्भा पर्वत मेखला, खैट पर्वत, सुरकण्डा देवी, कुंजापुरी, मंजिल देवता, रानीचैंरी, नई टिहरी, मसूरी आदि कई धार्मिक एवं रमणीक स्थल दिखाई देते हैं। वन प्रान्त की हरीतिमा, हिमतुंग शिखर, गहरी उपत्यकायें, घाटियां व ढलानों पर अवस्थित सीढ़ीनुमा खेत, नागिन सी बलखाती पंगडंडियां, मोटर मार्ग, भव्य पर्वतीय गाँवों के अवलोकन से आँखों को परम शान्ति की प्राप्ति होती है। श्रधालुओं के लिए नैखरी में गढ़वाल मण्डल विकास निगम को पर्यटक आवास गृह, अंजनीसैंण में श्री भुवनेश्वरी महिला आश्रम के अलावा कई होटल व धर्मशालाएं भी हैं।




टेन्स्बर्ग एंटरटेनमेंट देहरादून में लांच हुआ


-दीप डिस्ट्रीब्यूटर प्राइवेट लिमिटेड ने सामाजिक कार्यो में सहयोग करने के उद्देश्य से टेन्स्बर्ग एंटरटेनमेंट शुरू किया


देहरादून।  टेन्स्बर्ग एंटरटेनमेंट का आधिकारिक लॉन्च कार्यक्रम आज देहरादून स्तिथ होटल में किया गया।  जिसमे कि दिल है हिंदुस्तानी 2  फेम , भैरवास ग्रुप के उत्तराखण्डी फोक ऐवम सॉफ्ट रॉक बैंड के सिंगर संकल्प खेतवाल ने अपने प्रसिद्ध गीतों जैसे जरा जरा माठू माठू हिट छोरी तेरी गागर छलकिगी और बॉलीवुड सिंगर मिक्का सिंह के साथ गया गढ़वाली गीत तेरी बाकि बात रूप कमायू जैसे अपने कई सुपर हिट गानों द्वारा दर्शको का दिल जीता   और साथ ही युवाओ से आह्वान किया कि वे लोग भी टेन्स्बर्ग एंटरटेनमेंट कि और से चलाये जा रहे स्वच्छ पर्यावरण अभियान में जुड़े । भैरवास ग्रुप के अन्य सदस्य सौरभ नेगी, गिटारिस्ट, रजत डोभाल, ड्रमर आशु पाल, प्रीक्यूशन और हिमांशु रावत, बॉस ने भी दर्शको से खूब वाही वाही लूटी।


 इस अवसर पर अम्बर जी, कंपनी डायरेक्टर, टेन्स्बर्ग ने बताया कि मुझे बहुत ख़ुशी है कि टेन्स्बर्ग एंटरटेनमेंट का लांच देहरादून शहर में हुआ है। यह कंपनी सामाजिक कार्यो लोगो को पर्यावरण के प्रति जागरूक करने के लिए आने वाले समय में बहुत सारे अभियान जैसे नो टू प्लास्टिक, ग्रीन प्लान्टेशन , पर्यावरण कि सुरक्षा और स्वछता अभियान चलाएग।  आज हमने उत्तराखण्ड के प्रसिद्ध कलाकारों को बुलाकर यह सन्देश दिया है कि पर्यावरण के प्रति ज्यादा से ज्यादा युवाओं को जागरूक करना और उन्हें इस अभियान में जोड़ने का संकल्प किया है। इसी क्रम में हमने आज अपने सदस्यों के साथ मसूरी रोड पर पौधा रोपण भी किया है। आने वाले समय में पुरे उत्तराखण्ड में पर्यावरण सुरक्षा , स्वछता अभियान में ज्यादा से ज्यादा युवाओ को जोड़ने के लिए टेन्स्बर्ग एंटरटेनमेंट मनोरंजन क्षेत्र कि प्रशिद्ध हस्तियों को बुलाकर इन अभियानों में जुंडने का आह्वान करेंगे।इस अवसर पर नीरज अग्रवाल , आनंद गौतम, गोपाल जोशी , नागेश उपाध्याय , कुंवर सिंह नेगी और टेन्स्बर्ग एंटरटेनमेंट अन्य सदस्य भी मौजूद रहे।


जयंती पर अग्रसेन महाराज की मूर्ति पर माल्यार्पण कर की पूजा-अर्चना 


हरिद्वार। अग्रसेन घाट समिति के पदाधिकारियों द्वारा महाराज अग्रसेन जयंती के अवसर पर महाराजा अग्रसेन घाट पर उनकी मूर्ति पर माल्यार्पण कर पूजा अर्चना व आरती की गयी। संरक्षक मनोज गर्ग, महावीर अग्रवाल, अध्यक्ष रामबाबू बंसल, महामंत्री विशाल गर्ग आदि ने सभी को अग्रसेन जयंती की शुभकामनाएं दी। संरक्षक मनोज गर्ग व महावीर अग्रवाल ने कहा कि महाराज अग्रसेन ने जीवन पर्यन्त राष्ट्र को प्रगति की ओर ले जाने में निर्णायक भूमिका निभाई। उन्होंने समाज उत्थान में अपना योगदान दिया। समाज में फैली भ्रांतियों को दूर करने में इनकी प्रासंगकिता आज भी समाज को प्रेरणा दे रही है। इनके आदर्शो को अनुसरण करते हुए समाज को गति प्रदान करने में अपना योगदान दें। अग्रसेन घाट समिति के रामबाबू बंसल व महामंत्री विशाल गर्ग ने कहा कि महापुरूषों के जीवन से समाज को सीख मिलती है। देश के विकास में सभी को अपना योगदान देना चाहिए। अग्रसेन समाज देश की उन्नति में अपना योगदान देता चला आ रहा है। उन्होंने कहा कि अग्रसेन घाट समिति लगातार अपने सामाजिक दायित्वों को निभाती चली आ रही है। गंगा स्वच्छता, निःशुल्क चिकित्सा शिविर, पाॅलीथीन उन्मूलन, रक्तदान आदि को लेकर भी समिति के पदाधिकारी कार्य करते चले आ रहे हैं। गरीब, असहाय, निर्धन परिवारों के उत्थान में समय समय पर योगदान भी दिया जाता है। विशाल गर्ग ने कहा कि महाराज अग्रसेन ने हमेशा ही समाज को नई दिशा देने का काम किया। उनके उपदेशों व आदर्शो को अपनाते हुए देश की प्रगति में सभी को मिलजुल कर अपना योगदान देना चाहिए। इस अवसर पर हितेश अग्रवाल, डा.सन्नी, अनुराग गुप्ता, रामगोपाल गुप्ता, मधुसूदन अग्रवाल, एसपी अग्रवाल, पंकज, पार्थ अग्रवाल आदि ने भी महाराज अग्रसेन के जीवन पर प्रकाश डाला। 

बीइंग भगीरथ टीम ने दरिद्र भंजन घाट पर चलाया स्वच्छता अभियान, पेंटिंग कर किया सौंदर्यकरण 


हरिद्वार। बीइंग भगीरथ टीम के स्वंयसेवीयो ने शहर सौंदर्यीकरण के लिए सिंगल यूज प्लास्टिक के खिलाफ मुहिम तेज कर दी है। इसी चरण में टीम के सदस्यों ने कनखल स्थित दरिद्र भंजन मन्दिर की दीवार पर सिंगल यूज प्लास्टिक बोतलों से गमले बनाकर पौधे रोपित किए।तथा पेंटिंग बनाकर प्लास्टिक व पौलिथिन का उपयोग न करने का संदेश दिया।

टीम ने द्वितीय चरण मे घाट पर फैली गंदगी को एकत्र कर उसका उचित निस्तारण किया। बीइंग भगीरथ टीम के राष्ट्रीय संयोजक शिखर पालीवाल ने गंगा घाट पर उपस्थित भक्तों से अपील करते हुए कहा कि गंगा को डस्टबिन ना समझे अपने घरों का कूड़ा गंगा में ना फेंके। नवरात्र के अवसर पर लोग अज्ञानता के कारण गंगा में पूजन सामग्री,मैले कुचैले पदार्थ, पुराने कपड़े, पॉलिथीन व खाने की वेस्ट सामग्री गंगा में फेंक रहे हैं। जिन कारणों से गंगा के प्रदूषण को बढ़ावा मिल रहा है। घरों से निकलने वाले कूड़े करकट को एकत्र करना चाहिए। हम स्वयं अपना उत्तर दायित्व निभाते हुए गंगा को निर्मल स्वच्छ बनाने में अपने सहयोग प्रदान करते रहे। गंगा की कतई भी डस्टबिन न समझें। गंगा हमारी आस्था की पहचान है। लाखों करोड़ों आस्थावान श्रद्धालु गंगा की पूजा-अर्चना करते हैं। उन्होंने कहा की हम खघ्ुद ही प्लास्टिक बोतलों से सुंदर आकृतियाँ बनाकर शहर को स्वच्छ सुंदर बना रहे हैं। प्रत्येक व्यक्ति यदि 2 घंटे का समय प्रत्येक रविवार को बीइंग भगीरथ टीम के साथ दे तो गंगा को प्रदूषण मुक्त किया जा सकता है। सफाई अभियान मे जितेंद्र चैहान, नीरज शर्मा, चेतना भाटिया, मधु भाटिया, शिवम अरोड़ा, मोहित विश्नोई, विपिन सैनी, विपिन शर्मा, नीरज शर्मा, जनक सहगल, शिवम घोष, शालिनी, सन्नी दिव्यांशु व आदित्य भाटिया आदि शामिल रहें।

नवरात्र साधना करने देश-विदेश से हजारों साधक पहुँचे शांतिकुंज


-देसंविवि में नौ दिन चलेंगी विशेष कक्षाएँ, कुलाधिपति डॉ. पण्ड्या करेंगे संबोधित

 

हरिद्वार। हरिद्वार। शारदीय नवरात्रि आज से प्रारंभ हो गयी है। गंगा की गोद में बसे विश्व प्रसिद्ध गायत्री तीर्थ शांतिकुंज में उपासना के महापर्व हेतु देश-विदेश से हजारों साधक पहुँचे। इस बार नवरात्र में कई योग एक साथ बने हैं। ऐसे में तीर्थ नगरी हरिद्वार के गंगा तट में साधना कर साधक अपनी मनोकामना पूर्ण करने के लिए हजारों की संख्या में पहुँचे हैं। नौ दिन तक चलने वाले इस प्रायश्चित पर्व में साधक 24 हजार गायत्री मंत्र की उपासना के साथ व्यक्तित्व परिष्कार के विभिन्न आध्यात्मिक आयामों को अपने जीवन में उतारेंगे। नवरात्र के प्रथम दिन की शुरुआत ध्यान साधना से हुई।

व्यवस्थापक शिवप्रसाद मिश्र ने साधकों को नवरात्र अनुष्ठान के संकल्प के साथ साधना की पृष्ठभूमि से अवगत कराया। प्रथम दिन साधकों ने अपनी दिनचर्या की शुरुआत ध्यान-साधना के साथ हवन से किया। पश्चात् उन्होंने अपनी साधना प्रारंभ की। वहीं शांतिकुंज के मुख्य सभागार में आयोजित सत्संग में साधकों को संबोधित करते हुए डॉ ओपी शर्मा ने कहा कि नवरात्र साधना का महापर्व है। इन नौ दिनों में मनोयोगपूर्वक की साधना से सिद्धि की प्राप्ति होती है और साधना से शुद्धि भी मिलती है। साधना एक तपश्चर्या है, जिसके बहुत सारे आयाम हैं, लेकिन सभी आयामों का लक्ष्य एक है-शुद्धि प्रदान करना, परिष्कृत करना। प्राप्त जानकारी के अनुसार शांतिकुंज में नवरात्र अनुष्ठान में साधकों की दिनचर्या में त्रिकाल संध्या का विशेष क्रम जोड़ा गया है। इसके अंतर्गत प्रातः, दोपहर व सायं को एक-एक घंटा समय निर्धारित किया गया है। जिसमें प्रायः सभी साधक सामूहिक रूप से साधना करते हैं। वहीं दूसरी ओर विश्व प्रसिद्ध नवचेतना के उद्घोषक व देवसंस्कृति विवि के कुलाधिपति डॉ. प्रणव पण्ड्या विवि के युवाओं को नौ दिन तक मृत्युंजय सभागार में आयोजित होने वाली विशेष साधना व स्वाध्याय की कक्षा को संबोधित करेंगे।

नैसर्गिक सौंदर्य से भरपूर डोडीताल


देहरादून, गढ़ संवेदना। नैसर्गिक सौंदर्य से भरपूर डोडीताल ट्रैक पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित कर रहा है। चारधाम आने वाले यात्री भी डोडीताल के प्राकृतिक सौंदर्य का लुफ्त उठा रहे है। पर्यटकों को यहां सुंदर झील, दुर्लभ प्रजाति की मछलियां और बर्फीले बुग्याल देखने को मिल रहे है। ट्रैकिंग का शौक रखने वालों के लिए डोडीताल किसी जन्नत से कम नहीं है। उत्तरकाशी जिले में खूबसूरती और रोमांच का अदभुत संगम डोडीताल हिमालय की गोद में बसा छोटा सा हिल स्टेशन है। जो समुद्र तल से 3024 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। उत्तरकाशी से डोडीताल की दूरी 40 किलोमीटर है और यहां पहुंचने के लिए पर्यटकों को 22 किलोमीटर की दूरी पैदल ही तय करनी पड़ती है। पर्यटक इस ट्रैकिंग में अगोड़ा गांव में एक दिन का स्टे करने के बाद माझी में कैंपिग कर सकते है। डोडी ताल उत्तराखंड के उत्तरकाशी में गंगोत्री सड़क मार्ग से 4 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। गंगोरी नामक स्थल से अगोड़ा के रास्ते पर लगभग 28 किलोमीटर की दूरी पर 3307 मीटर की ऊँचाई पर स्थित हैं। स्वच्छ व निर्मल जल से परिपूर्ण यह झील चारों ओर से घने वनों से लदा हुआ है। हिमालय क्षेत्र की प्रसिद्ध टाउट मछलियाँ भी यहाँ पाई जाती हैं। 

दिगंबर जैन महासमिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष अशोक बड़जात्या से भेंट कर मार्गदर्शन प्राप्त किया 



देहरादून, गढ़ संवेदना । दिगंबर जैन महासमिति के उत्तरप्रदेश-उत्तरांचल के मुख्य सेवा संयोजक सचिन जैन ने दिगंबर जैन महासमिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष अशोक बड़जात्या के इंदौर से देहरादून आगमन पर महासमिति के पदाधिकारी व सभी सदस्यों के साथ एक शिष्टाचार भेंट कर मार्गदर्शन प्राप्त किया।


सचिन जैन ने अशोक जैन बड़जात्या को अंगवस्त्र पहनाकर वा स्मृति चिन्ह देकर उनका स्वागत और अभिनंदन किया।  सचिन जैन ने कहा कि ये हमारे लिए गौरव का विषय है कि आज हमारे बीच हम सबको राष्ट्रीय अध्यक्ष का मार्गदर्शन प्राप्त हो रहा है। जिसमें महासमिति आपके मार्गदर्शन से शिखर को छूने में सफलता हासिल करेगी और सफलता के पायदान पर कदम रखेगी। इस अवसर पर राष्ट्रीय अध्यक्ष अशोक जैन बड़जात्या ने अपने विचार रखे और विश्वास जताया कि सभी पदाधिकारी एवं सदस्य मिलजुल कर महासमिति के माध्यम से सामाजिक कार्य करेंगे। और महासमिति से जन जन को सदस्य बनाकर महासमिति को अग्रिम पंक्ति में लाकर खड़ा करेंगे। इस पर महासमिति के संभागीय अध्यक्ष राजेश जैन ने आश्वस्त करते हुए भरोसा दिलाया कि आपकी उम्मीदों और आशाओं पर हम सभी खरा उतरने को पूरी पूरी कोशिश करेंगे और पूरी कर्तव्यनिष्ठा के साथ कार्य करेंगे। इस अवसर पर दिगम्बर जैन महासमिति अंचल की राजनीतिक चेतना प्रकोष्ठ संयोजिका मधु जैन ने उनका अपनी और सभी सदस्यों की ओर से आभार प्रकट किया और कहा कि आपके मार्गदर्शन में निश्चित रूप से महासमिति अपने चरम शिखर को छूने में पीछे नहीं हटेगी। इस अवसर पर आशीष जैन, आशु जैन, प्रतीक जैन, सुनीता जैन, प्रियंका जैन, ईशान जैन, आरव जैन आदि लोग उपस्थित रहे।



Saturday, 28 September 2019

दून में ‘डांडिया एंड गरबा रास व अंदाज-ए-दून एग्जीबिशन‘ 5 अक्टूबर को 



देहरादून, गढ़ संवेदना । द क्रिएटिव हब डांस इंस्टीट्यूट द्वारा 5 अक्टूबर को हरिद्वार रोड स्थित होटल साॅलिटेअर में 'डांडिया एंड गरबा रास 2019 व अंदाज-ए-दून एग्जीबिशन' का आयोजन किया जाएगा। पिछले आठ वर्षों से द क्रिएटिव हब डांस इंस्टीट्यूट द्वारा लगातार सफलता के साथ 'डांडिया एंड गरबा रास का आयोजन किया जा रहा है। 29 सितंबर से 3 अक्टूबर तक डांडिया व गरबा प्रशिक्षण दिया जाएगा, इसकी जानकारी आयोजक व द क्रिएटिव हब डांस इंस्टीट्यूट की डायरेक्टर मीतू बंसल ने दी।

मीतू बंसल ने प्रेस वार्ता के दौरान बताया कि, इस साल यह कार्यक्रम सामाजिक सामुदायिक संस्था द यलो वरान्दा के साथ मिलकर आयोजित किया जा रहा है। शाम 5 बजे से इस कार्यक्रम की शुरूआत दूर्गा पूजा के साथ होगी। उसके बाद पारिवारिक कार्यक्रम, नृत्य-संगीत की प्रस्तुतियां आदि कार्यक्रम में शामिल रहेंगी। इसके अलावा डांडिया रास, गरबा, डीजे व स्वादिष्ट व्ंयजनों के साथ खूब धमाल और मस्ती होगी। उन्होंने यह भी बताया कि रोमांच से भरी इस शाम में महिलाओं के लिए अंदाज-ए-दून एग्जीबिशन का आयोजन किया जा रहा है, जिसमें त्यौहारों संबंधी  साज-सज्जा वस्तुओं की प्रदर्शनी लगायी जाएंगी। कार्यक्रम में जरूरतमंदों के लिए कार्यरत 'गूंज' संस्था द्वारा तैयार कलेक्शन का स्टाॅल व डोनेशन स्टाॅल भी लगाया जाएगा।

5 अक्टूबर को आयोजित होने वाले 'डांडिया एंड गरबा रास 2019 के लिए आकर्षक व पारंपरिक परिधानों का ड्रेस कोड रखा गया है। मीतू ने आगे कहा कि, द क्रिएटिव हब डांस इंस्टीट्यूट द्वारा आयोजित डांडिया एंड गरबा रास में पारिवारिक वातावरण के साथ सुरक्षा व सभ्यता का विशेष ध्यान रखा जाएगा। उन्होंने कहा कि क्रिएटिव हब डांस इंस्टीट्यूट का उद्देश्य भारतीय परंपराओं के साथ-साथ भारतीय संस्कृति को बचाये रखना व लोगों को सभ्याता व संस्कृति के प्रति जागरूक करना है।

क्रिएटिव हब टीम की रेनू गर्ग ने बताया कि, 'डांडिया एंड गरबा रास 2019' का संचालन सिंगर व सेलीब्रिटी एंकर नवाब करेंगे। नेहरू कलोनी स्थित द क्रिएटिव हब डांस इंस्टीट्यूट द्वारा पिछले आठ वर्षों से इस कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा हैं। प्रेसवार्ता में क्रिएटिव हब टीम मेंबर्स दीपक भट्ट, रेनू गर्ग, मनीष थपलियाल व द यलो वरान्दा टीम से सपना बटोला, अपूर्वा बनर्जी, आयुषी गुप्ता उपस्थित रहे।


 



रामलीला मंचन के दौरान विन्ध्याचल पर्वत पर भगवान परशुराम ने की तपस्या   

हरिद्वार। श्रीरामलीला कमेटी रजि. ने अपने रंगमंच से जनकपुरी की पुष्पवाटिका एवं परशुराम तपस्या के माध्यम से समाज को संदेश दिया कि मानव जीवन को साथी प्रदान करने वाले रिश्ते दैवीय कृपा के सानिध्य में बनते हैं और भगवान राम ने जनकपुरी की पुष्प वाटिका में प्रवेश करने से पूर्व माली से अनुमति लेकर यह संदेश दिया कि सहजता और सरलता व्यक्ति को सफलता की ओर अग्रसर करती है।

श्रीरामलीला कमेटी के अध्यक्ष वीरेन्द्र चड्ढा, महामंत्री महाराजकृष्ण सेठ तथा मुख्य दिग्दर्शक भगवत शर्मा 'मुन्ना' के निर्देशन में रंगमंच पर सजायी गयी जनकपुरी की पुष्पवाटिका एवं गौरी मंदिर की अद्भुत छटा ने जहां दर्शकों को रोमांचित किया वहीं विन्ध्याचल पर्वत पर भगवान परशुराम की तपस्या के दृश्य ने त्रेता युग की उस दैवीय शक्ति प्रधान संस्कृति का दर्शन कराया जिससे सभी रामभक्त अपने अतीत से गौरवान्वित हुए।

श्रीरामलीला सम्पत्ति कमेटी ट्रस्ट के मंत्री रविकान्त अग्रवाल ने बताया कि मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम के चरित्र एवं सनातन धर्म के संवर्द्धन में कमेटी दिल खोलकर खर्च करती है और 29 सितम्बर को डाॅ. रमेश खन्ना के संयोजन में राम विवाह शोभायात्रा की सभी तैयारियां पूर्ण कर ली गई हैं। श्रीरामलीला कमेटी के प्रेस प्रवक्ता विनय सिंघल ने बताया कि रविवार को राम विवाह शोभायात्रा के पश्चात रंगमंच का अवकाश रहेगा। रंगमंच का संचालन डाॅ. संदीप कपूर एवं विनय सिंघल ने संयुक्त रुप से किया। रामलीला को प्रतिवर्ष तथा प्रत्येक दिन दिव्य एवं भव्य बनाने में श्रीरामलीला कमेटी के जो पदाधिकारी अपना अमूल्य योगदान दे रहे हैं उनमें सम्पत्ति कमेटी ट्रस्ट के अध्यक्ष गंगाशरण मददगार, मंत्री रविकान्त अग्रवाल, रामलीला कमेटी के अध्यक्ष वीरेन्द्र चड्ढा, उपाध्यक्ष सुनील भसीन एवं राकेश गोयल, कोषाध्यक्ष रविन्द्र अग्रवाल, रमन शर्मा, सुनील वधावन, कन्हैया खेवड़िया, अनिल सुखीजा, राहुल वशिष्ठ, विकास सेठ तथा साहिल मोदी आदि शामिल हैं।    

केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने स्वामी अवधेशानंद गिरी से की मुलाकात 

हरिद्वार। मत्स्य पालन, पशुपालन एवं डेयरी मंत्री  भारत सरकार गिरिराज सिहं हरिद्वार पहुंचे साथ ही डामकोठी में पत्रकारों से वार्ता की और कंेद्र सरकार की नीतियों से अवगत कराया। उन्हेांने आर्थिक क्षेत्र में किये जा रहे बैंकों विलय तथा एमएसएमई क्षेत्र की प्रगति भी पत्रकारों को बतायी। इसके बाद केंद्रीय मेंत्री शंकराचार्य राजरोजश्वराश्रम के कनखल स्थित जगद्गुरू आश्रम पहुंच मुलाकात की। यहां से हरिहर आश्रम कनखल पहुंच आचार्य महामण्डलेश्वर स्वामी अवधेशानंद गिरि से भेंट की

कुम्भ मेला अधिकारी दीपक रावत, जिला सूचना अधिकारी अर्चना ने राष्ट्रपति के आश्रम आगमन की तैयारियों के सम्बंध में चर्चा की। स्वामी अवधेशानंद महाराज ने मेलाधिकारी  रावत को आश्रम में राष्ट्रपति के आगमन अवसर पर आश्रम आने के लिए आमंत्रित किया। इस अवसर पर प्रदेश उपाध्यक्ष बीजेपी विनय रोहेला, भाजपा जिलाध्यक्ष जयपाल चैहान, भाजपा जिला महामंत्री विकास तिवारी, भाजपा नेता नरेश शर्मा, संजय सहगल, विमल कुमार सहित स्थानीय पार्षद भी उपस्स्थित रहे।  

शांतिकुंज में सर्वपितृ अमावस्या में हुए सामूहिक श्राद्ध संस्कार

-पितरों, शहीदों व प्राकृतिक आपदाओं के दिवंगत लोगों को भी दी गयी सामूहिक श्रद्धांजलि 

-कुल अठ्ठारह पारियों में हुआ श्राद्ध संस्कार, पितरों की याद में एक-एक पौधा रोपने का भी लिया संकल्प

 

हरिद्वार। गायत्री तीर्थ शांतिकुंज में सर्वपितृ अमावस्या को निःशुल्क सामूहिक तर्पण संस्कार सम्पन्न हुआ। इस अवसर पर देश के कोने-कोने से आये हजारों श्रद्धालुओं ने अपने पितरों की याद करते हुए जलांजलि अर्पित की, तो वहीं श्रदलुओं ने अपने-अपने पितरों की याद में एक-एक पौधा रोपने व उसे संरक्षित करने का संकल्प लिया। सर्वपितृ अमावस्या के दौरान शांतिकुंज व्यवस्थापक शिवप्र्रसाद मिश्र के नेतृत्व में आचार्यों ने तीन अलग-अलग स्थानों में कुल अठ्ठारह पारियों में संस्कार कराया। एक पारी में एक हजार से अधिक श्रद्धालुओं ने श्राद्ध संस्कार में भागीदारी की।

 इस अवसर पर मिश्र ने कहा कि मनुष्य के मृत्यु के बाद उसकी आत्मा मरती नहीं है। उसका अपना अस्तित्व बना रहता है। आत्मा अमर, अजर, सत्य और शाश्वत है। जिस प्रकार पुराने, जीर्ण वस्त्र त्याग करके मनुष्य नये वस्त्र धारण करता है, उसी प्रकार आत्मा जीर्ण शरीर का त्याग करके नया शरीर धारण करती है। उन्होंने कहा कि जब जीवात्मा एक जन्म पूरा करके अपने दूसरे जीवन की ओर उन्मुख होती है, तब जीव की उस स्थिति को भी एक विशेष संस्कार के माध्यम से बाँधा जाता है, जिसे मरणोत्तर संस्कार या श्राद्ध कर्म कहा जाता है। उन्होंने कहा कि पितृपक्ष के प्रत्येक दिन अपने पितरों के अलावा महापुरुषों, संतों, शहीदों, प्राकृतिक आपदाओं में असमय काल कवलित हुई मृतात्माओं की सद्गति एवं कन्या भ्रुण हत्या में जो शिशु आत्माएँ दिवंगत होती हैं, उनके निमित्त विशेष वैदिक कर्मकाण्ड के साथ जलांजलि दी गयी। शांतिकुंज स्थित संस्कार प्रकोष्ठ से मिली जानकारी के अनुसार श्राद्ध पक्ष में शांतिकुंज के अंतेवासी कार्यकर्त्ताओं के अलावा पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, उप्र, मप्र, बिहार, राजस्थान, तेलगंाना, आंध्रप्रदेश, तमिलनाडू, झारखण्ड, छत्तीसगढ़, गुजरात सहित देशभर से आये श्रद्धालुओं ने अपने-अपने पितरों को श्रद्धांजलि दी। इसके साथ ही श्रद्धालुओं ने अपने पितरों की याद में एक-एक पौधा रोपने का संकल्प लिया।

मायाकुण्ड में चिकित्सा शिविर एवं स्वच्छता जागरूकता अभियान का आयोजन

-मायाकुण्ड एवं कई अन्य आगंनवाड़ी के बच्चों को पिलायी विटामिन ए एवं अल्बेनडाजोल

 

ऋषिकेश। मायाकुण्ड, ऋषिकेश में निःशुल्क चिकित्सा शिविर एवं स्वच्छता जागरूकता अभियान का आयोजन सेवा चाइल्ड, परमार्थ निकेतन, डिवाइन शक्ति फाउण्डेशन, ग्लोबल इण्टरफेथ वाश एलायंस (जीवा), ग्रामीण विकास संस्थान (आर डी आई) एवं हिमज्योति के संयुक्त तत्वावधान में किया गया। हिमालयन हाॅस्पिटल एवं परमार्थ निकेतन के चिकित्सकों ने स्वास्थ्य परिक्षण किया तथा पांच वर्ष से कम उम्र के बच्चों को विटामिन 'ए' की खुराक एवं कृमिनाशक औषधि अल्बेनडाजोल पिलायी गयी। इस अवसर पर परमार्थ निकेतन द्वारा विशाल भण्डारे का आयोजन किया गया।

   स्वामी चिदानन्द सरस्वती की प्रेरणा से चिकित्सा शिविर का आयोजन किया गया। मायाकुण्ड क्षेत्र के बच्चों के अलावा कई अन्य आंगनवाड़ियों के बच्चों को भी दवाई पिलायी गयी एवं उनका स्वास्थ्य परिक्षण किया गया। इस अवसर पर ऋषिकेश मेयर श्रीमती अनिता ममगई उपस्थित थी उन्होने बच्चों को विटामिन ए की खुराक पिलायी तथा भण्डारे में भोजन परोस कर सभी के भोजन कराया। विटामिन 'ए' शरीर के सभी अंगों को सुचारू रूप से चलाने में मदद करता है। यह अच्छी सेहत के लिये जरूरी है। विटामिन ए आंखों की रोशनी को तेज करता है। इसके द्वारा बच्चों का विकास सुचारू रूप से होता है एवं हडिडयों, दांतांे एवं उत्तकों के रख-रखाव मंेे सहायक है। अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त दिशानिर्देशों के अनुसार 6-11 महीने के प्रत्येक बच्चों को प्रतिवर्ष 100,000 आईयू विटामिन ए की दो खुराक की आवश्यकता होती है तथा अल्बेनडाजोल कृमिनाशक दवाई की भी 12 से 59 महीने की आयु के प्रत्येक बच्चों को सालाना दो खुराक की जरूरत होती है। विटामिन 'ए' की कमी के कारण शरीर पर अनेक विपरीत प्रभाव पड़ते हंै यथा अन्धेरे में कम दिखाई देेेना, आंखोेे में आंसू की कमी से आंखांे पर सूजन आना। इसकी कमी से बच्चों का विकास असामान्य गति से होता है तथा कद भी छोटा रह जाता है। इस कार्यक्रम में जीवा संगठन के स्वच्छता विशेषज्ञों ने बच्चों एवं माताओं को स्वच्छता एवं पर्यावरण संरक्षण विषयों की जानकारी दी। स्वच्छता के प्रति जागरूक करने के लिये चित्रकला एवं प्रश्नोत्तरी का आयोजन किया गया, जिसमंे सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने वाले बच्चों एवं माताओं को पुरस्कृत भी किया गया। साथ ही स्वच्छता किट वितरित किये गये। जीवा के विशेषज्ञों ने स्वस्थ रहने, सुरक्षित जल, स्वच्छता और स्वच्छता का महत्व विषय पर लघु फिल्म (शार्ट फिल्म) एवं पपेट शो के माध्यम से जानकारी प्रदान की।

 स्वामी चिदानन्द सरस्वती ने संदेश के माध्यम से कहा कि आज के बच्चे भारत का भविष्य है। वे स्वस्थ रहेंगे तो निश्चित रूप से सुखद भविष्य का निर्माण कर पायंेगेे। उन्होने कहा कि वर्तमान समय में भारत के कुछ राज्यों में पांच वर्ष से कम उम्र के बच्चों के बीच कुपोषण की समस्या ह,ै यह समस्या भविष्य के विकास को नकारात्मक रूप से प्रभावित करेंगी अतः बच्चों स्वच्छ, स्वस्थ और पोषक युक्त आहार से युक्त रखना सभी की जिम्मेदारी है। जीवा की अन्तर्राष्ट्रीय महासचिव डाॅ साध्वी भगवती सरस्वती जी ने कहा कि ''स्वच्छता, स्वच्छ जल एवं बेहतर चिकित्सा पद्धति पर प्रत्येक बच्चे का अधिकार है जो उसे प्राप्त होना चाहिये। साध्वी जी ने माताओं से बच्चों की शिक्षा और संस्कारों पर विशेष ध्यान दे बात कही साथ ही स्वच्छ परिवेश और स्वच्छता की आदतों के साथ बच्चों को पोषित और संस्कारित करने पर जोर दिया।''

जीवा के स्वच्छता विशेषज्ञों ने वहां उपस्थित सभी लोगों को एकल उपयोग प्लास्टिक का प्रयोग न करने, कूडे को निश्चित स्थान में डालने, शौचालय का प्रयोग करने, पर्यावरण संरक्षण एवं स्वच्छ भारत के निर्माण में सहयोग करने का संकल्प कराया। साथ ही सभी को स्वच्छता किट वितरित किये गये। तत्पश्चात सैकड़ों की संख्या मंे उपस्थित लोगों को प्रेमपूर्वक भण्डारा खिलाया गया। इस अवसर पर सतीश गोयल, अनुराधा गोयल, सैमुअल, राकेश, उदय, मुकेश, परमार्थ गुरूकुल के ऋषिकुमार एवं अन्य विशिष्टगण उपस्थित रहे।

मुख्यमंत्री ने किया उत्तराखण्ड अर्बन ट्रांसफोरमेशन समिट का शुभारम्भ


-समिट में देशभर के 12 स्मार्ट सिटी सी.ई.ओ ने किया मंथन, स्मार्ट सिटी की राह होगी आसान

-मुख्यमंत्री ने देहरादून को स्मार्ट शहर बनाने के लिए बतायी समेकित प्रयासों की जरूरत

-देहरादून होगा देश का ग्रेविटी आधारित पेयजल उपलब्ध कराने वाला पहला स्मार्ट शहर

-देहरादून को पाॅलीथीन मुक्त करने के प्रयासों के लिये नगर निगम को 50 लाख की धनराशि दी

 

देहरादून । मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने शनिवार को मसूरी में आयोजित उत्तराखण्ड अर्बन ट्रांस्फोरमेशन समिट 2019 का शुभारम्भ किया। उन्होंने समिट में प्रतिभाग कर रहे केन्द्रीय शहरी विकास मंत्रालय के संयुक्त सचिव तथा स्मार्ट सिटी के मिशन डायरेक्टर के साथ ही देश के 12 प्रमुख स्मार्ट सिटी के सी.ई.ओ एवं स्मार्ट सिटी मिशन से जुड़ी कार्यदायी संस्थाओं के प्रमुखों का उत्तराखण्ड में स्वागत करते हुए कहा कि इस समिट में होने वाला मंथन स्मार्ट सिटी मिशन को गति प्रदान करेगा। इससे आपसी अनुभवों एवं ज्ञान का भी आदान प्रदान होगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि समिट में होने वाले आपसी विचार विमर्श एवं अनुभव स्मार्ट सिटी के कार्यों को नई दिशा प्रदान करने में मददगार रहेगा। देहरादून स्मार्ट सिटी का देश-भर में 99 से 32वें पायदान पर आने पर उन्होंने प्रसन्नता व्यक्त की। देहरादून का स्मार्ट सिटी बनने में उन्होंने समेकित प्रयासों की भी जरूरत बतायी। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमें अपनी सोच भी स्मार्ट बनानी होगी। जब हमारी सोच अच्छी होगी तो उनके परिणाम भी अच्छे होंगे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि आधुनिक तकनीकी का बेहतर इस्तेमाल कर ही बेहतर परिणाम प्राप्त किये जा सकते हैं। उन्होंने कहा कि कोशी एवं रिस्पना में एक घंटे में लाखों वृक्षों का रोपण जन सहभागिता का अनूठा उदाहरण है। सौग बांध से देहरादून को ग्रेविटी आधारित पेयजल उपलब्ध कराये जाने की योजना भी शीघ्र धरातल पर उतरेगी। इसमें देहरादून को ग्रेविटी आधारित पेयजल उपलब्ध होने के साथ ही करोड़ों के बिजली व्यय की बचत होगी, भूजल स्तर में सुधार होगा तथा रिस्पना नदी को ऋषिपर्णा बनाने की भी राह प्रशस्त होगी।

मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखण्ड को पोलीथीन मुक्त प्रदेश बनाने की दिशा में हमारे प्रयास साकार होते दिखाई दे रहें हैं। देश में इसकी शुरूआत हो रही है तब हम इस दिशा में काफी आगे बढ़ चुके हैं। उन्होंने देहरादून शहर को पोलीथीन मुक्त बनने के लिए नगर निगम को 50 लाख रूपये देने की भी घोषणा की।

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमें अपनी कार्य प्रणाली में सुधार लाने के साथ ही अपनी सोच में बदलाव लाना होगा। इसके लिए हमारी कार्यदायी संस्थाओं को डबल श्फ्टि में कार्य करने की आदत डालनी होगी तभी योजनायें समय पर पूर्ण हो सकेंगी तथा लोगो को उसका अपेक्षित लाभ प्राप्त हो सकेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री जी की स्मार्ट सिटी परियोजना को मूर्त रूप देने में राज्य सरकार तथा देहरादून स्मार्ट सिटी द्वारा सभी आवश्यक प्रयास किये जा रहे हैं। देहरादून स्मार्ट सिटी द्वारा कार्यों को मूर्त रूप देने कि तैयारी शुरू कर दी गई है। देहरादून में स्मार्ट सिटी के अन्तर्गत होने वाले सभी कार्यों को शीघ्रता से धरातल पर उतारा जायेगा, ताकि देहरादून की जनता को समय पर इसका लाभ मिल सके। नगर विकास मंत्री मदन कौशिक ने कहा कि देहरादून को स्मार्ट सिटी बनाने के लिए हमारे प्रयास धरातल पर दिखायी देने लगे हैं। उन्होंने कहा कि शहर के ड्रेनेज व सीवर सिस्टम को ठीक करने के साथ ही अतिक्रमण हटाना भी एक चुनौती रही है। स्मार्ट सिटी की दिशा में आने वाली बाधाओं को दूर किया जा रहा है। देश व दुनिया के लोग देहरादून को नये शहर के रूप में देखे इसके लिये हमारे प्रयास जारी है। उन्होंने कहा कि हमारा प्रयास है कि स्मार्ट सिटी देहरादून अन्य शहरों के लिये भी प्रेरणा का कार्य करे।

केन्द्रीय शहरी विकास मंत्रालय के संयुक्त सचिव एवं स्मार्ट सिटी मिशन के मिशन डायरेक्टर कुणाल कुमार ने कहा कि देश में देहरादून स्मार्टसिटी द्वारा बेहतर प्रदर्शन किया गया है। 8 माह पूर्व जो 99वें स्थान पर था आज 32वें स्थान पर है। स्मार्ट सिटी कार्यों का शत प्रतिशत टेण्डर किया जाना भी उत्साहजनक है। उन्होंने कहा कि 100 स्मार्ट सिटी शहरों के एक लाख करोड़ के टेण्डर किये जा चुके हैं, उन्होंने कहा कि स्मार्ट शहर की योजना भावी पीढ़ी को अच्छी शहरी सुविधायें उपलब्ध कराने की एक यात्रा हे। उन्होंने कहा कि इससे दो करोड़ से ज्यादा लोगों को फायदा होगा। कम से कम संसाधनों मे लोगों को बेहतर सुविधायें उपलब्ध कराना इसका उद्देश्य है। 

स्मार्ट सिटी योजना के कार्यों की जानकारी देते हुए मुख्य कार्यकारी अधिकारी डाॅ आशीष श्रीवास्तव ने बताया कि इसके तहत एकीकृत कमाण्ड एण्ड कण्ट्रोल सेन्टर के क्रियान्वयन के लिए मै0 एच0पी0 लिमिटेड का चयन किया गया है। उन्होंने बताया कि देहरादून स्मार्ट सिटी के तहत 100 प्रतिशत टेण्डर प्रक्रिया पूर्ण कर 75 प्रतिशत कार्यों के वर्क आर्डर जारी कर दिये गये हैं। देहरादून को प्लास्टिक मुक्त बनाने के लिये स्कूलों के साथ ही विभिन्न संस्थाओ का भी सहयोग लिया जा रहा है।

इस अवसर पर मेयर सुनील उनियाल गामा, सचिव शहरी विकास शैलेश बगोली तथा एच.पी. इण्टर प्राइजेज के मैनेजिंग डायरेक्टर सोम सतसंगी ने भी विचार व्यक्त किये। कार्यक्रम मे सांसद माला राज लक्ष्मी शाह, विधायक गणेश जोशी, अध्यक्ष नगर पालिका मसूरी सहित विभिन्न संस्थाओं के प्रतिनिधि आदि उपस्थित थे। 

एयर इण्डिया की ’मुम्बई-देहरादून-वाराणसी’ हवाई सेवा शुरू



-जौलीग्रान्ट एयरपोर्ट पर आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने किया विधिवत शुभारम्भ
-सप्ताह में दो दिन चलेगी सेवा, अब देहरादून से वाराणसी डेढ़ घंटे में पहुंचा जा सकेगा


देहरादून, गढ़ संवेदना । एयर इण्डिया की 'मुम्बई-देहरादून-वाराणसी' हवाई सेवा शुरू हो गई है। यह सेवा अभी सप्ताह में दो दिन चलेगी। मुख्यमंत्री श्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने शनिवार को जौलीग्रान्ट एयरपोर्ट पर आयोजित कार्यक्रम में हवाई सेवा का विधिवत शुभारम्भ किया। एयर इंडिया की देहरादून से शुरू होने वाली यह तीसरी एयर बस है।
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कहा कि देहरादून व वाराणसी के बीच सीधी हवाई सेवा शुरू होने से विशेष रूप से उत्तराखण्ड व उत्तर प्रदेश के लोगों को लाभ होगा। इससे पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा। उत्तराखण्ड में न केवल इंफ्रास्ट्रक्चर बल्कि रोड, एयर और रोप वे कनेक्विटी बढ़ाने की दिशा में तेजी से कार्य किया गया है। इससे राज्य में पर्यटन व्यवसाय को और अधिक मजबूती मिलेगी। एयर कनेक्टीवीटी में विस्तार से राज्य में निवेश भी बढ़ेगा। मुख्यमंत्री ने जौलीग्रांट एयरपोर्ट पर आयोजित कार्यक्रम का दीप प्रज्वलित कर शुभारंभ किया और केक भी काटा। उन्होंने मुम्बई-देहरादून-वाराणसी फ्लाईट के पायलट शिराज फारुकी को शुभकामनाएं दीं। इस अवसर पर सांसद माला राज्य लक्ष्मीशाह, विधायक धन सिंह नेगी, मुख्यमंत्री के नागरिक उड्डयन सलाहकार कैप्टन दीप श्रीवास्तव, एयर इंडिया की निदेशक मीनाक्षी मलिक, अरूणा गोपालकृष्णन, ए. एस. नेगी सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे। देहरादून से वाराणसी के लिए अभी यह सेवा सप्ताह में दो दिन बुधवार और शनिवार को उड़ान भरेगी। अक्टूबर में कोलकात्ता तक भी देहरादून से हवाई सेवा शुरू हो जाएगी। ट्रैफिक को देखते हुए इस सेवा को सप्ताह में तीन दिन और फिर नियमित भी किया जा सकता है। देहरादून को देश के प्रमुख शहरों को हवाई सेवा से जोड़ा जा चुका है। आज की फ्लाईट अपनी पूर्ण यात्री क्षमता के साथ गई।
———————————————————————



तीर्थयात्रियों को ले जा रहे टैंपो पर गिरे पत्थर, 6 की मौत, 4 घायल, बदरीनाथ हाईवे पर तीनधारा के पास हुआ हादसा



देहरादून। बदरीनाथ हाईवे पर देवप्रयाग के  तीनधारा के पास शनिवार को दर्दनाक हादसा हो गया। बदरीनाथ यात्रा पर आ रहे सिख तीर्थयात्रियों से भरे टैंपो ट्रैवलर पर पहाड़ी से पत्थर गिर पड़े। पत्थरों के गिरने से टैंपो पलट गया और हादसे में 6 तीर्थयात्रियों की मौत हो गई। वहीं 4 लोग घायल हो गए हैं। सभी यात्री पंजाब के मोहाली के रहने वाले हैं। हादसे पर राज्यपाल बेबी रानी मौर्य और मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने गहरी संवेदना व्यक्त की है।

जानकारी के अनुसार, टैंपो संख्या PB01A7524 बदरीनाथ हाईवे पर जा रहा था। तभी देवप्रयाग से 15 किलोमीटर दूर तीन धारा के समीप पहाड़ी से पत्थर गिरने लगे और एक बड़ा पत्थर टैंपो पर गिर गया। सूचना मिलते ही एसडीआरएफ की टीम मौके पर पहुंच गई है। घायलों को रेस्क्यू कर अस्पताल पहुंचाया जा रहा है। हादसा शनिवार करीब ढाई बजे हुआ है। मोहाली(चंडीगढ़) के यात्रियों से भरा टैंपो ट्रैवलर हेमकुंड दर्शनों को जा रहा था। जैसे ही वाहन ऋषिकेश-बदरीनाथ राष्ट्रीय राजमार्ग (NH-58) पर तीन धारा के पास पहुंचा, तो अचानक पहाड़ी से एक बोल्डर वाहन के ऊपर गिर गया, जिससे उसके परखच्चे उड़ गए। वाहन में कुल दस लोग सवार थे, जिसमें से पांच लोगों ने मौके पर ही दम तोड़ दिया। हादसे की सूचना मिलते ही पुलिस प्रशासन मौके पर पहुंचा और राहत-बचाव कार्य शुरू किया। पुलिस ने सभी शवों को कब्जे में लेते हुए पांच घायल यात्रियों को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बागी (देवप्रयाग) में भर्ती कराया। यहां एक अन्य घायल यात्री ने दम तोड़ दिया। हादसे में तेजेंद्र पाल (43) पुत्र जसपाल सिंह निवासी 2430 सी मुंडी कांपलेक्स थाना सेक्टर 70 मोहाली, सुरेंद्र सिंह (35) पुत्र देवराज सिंह निवासी मं न.105 दशनेश नगर थाना नया गांव मोहाली, गुरूदीप सिंह (35) पुत्र बचनाराम निवासी ग्राम जयतीमजरी नाथा मुल्लापुर गरीबदास मोहाली, गुरूप्रीत सिंह (33)पुत्र गुरूनाम निवासी ग्राम सिरसैनी थाना लालडू जिला मोहाली, जितेंद्र पाल (34) पुत्र सतनाम निवासी 3156 पैराडाइज एनक्लेव थाना सेक्टर 49 औरवाहन चालक लवली (37) पुत्र किशोरीलाल निवासी हिरीऔंदी थाना रायपुरानी, जिला पंचकुला हरियाणा की मौत हो गई। जबकि देवेंद्रपाल सिं निवासी ग्राम खरड जिला मोहाली, भूपेंद्र सिंह सिंह बग्गा माजरा सोहना जिला मोहाली, रमेश वार्ड नं 4 अब्दुलपुर पिंजौर और अमृतपाल सिंह निवासी फेस द्वितीय महोली घायल हो गए।

हादसे पर राज्यपाल बेबी रानी मौर्य और मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने गहरी संवेदना व्यक्त की है। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने वाहन दुर्घटना में मृत व्यक्तियों के प्रति गहरा दुःख व्यक्त किया है। उन्होंने दिवंगतों की आत्मा की शांति एवं दुःख की इस घड़ी में उनके परिजनों को धैर्य प्रदान करने के साथ ही घायलों के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ की ईश्वर से कामना की है। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने जिलाधिकारियों को निर्देश दिये कि अतिवृष्टि में विशेष सतर्कता बरती जाए। दुर्घटना होने पर तत्काल राहत कार्य सुनिश्चित किये जाए। भूस्खलन की सम्भावना पर यात्रियों को सचेत किया जाए। दुर्घटना संभावित क्षेत्रों को चिन्हित कर वहां साइन बोर्ड व क्रैश बैरियर आदि की व्यवस्था की जाए।


Friday, 27 September 2019

थलसेना अध्यक्ष जनरल बिपिन रावत चीफ ऑफ स्टॉफ कमेटी के अध्यक्ष बने, सीएम ने दी बधाई



नई दिल्ली/देहरादून, गढ़ संवेदना। थलसेना अध्यक्ष जनरल बिपिन रावत चीफ ऑफ स्टॉफ कमेटी (सीओएससी) के अध्यक्ष बनाए गए हैं। उन्होंने पदभार ग्रहण कर लिया है। जनरल रावत के (सीओएससी) के अध्यक्ष का पदभार ग्रहण करने पर सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने खुशी व्यक्त करते हुए उन्हें बधाई और शुभकामनाएँ दी हैं। सीएम ने कहा कि जनरल रावत को सीओएससी का अध्यक्ष बनाया जाना उत्तराखण्ड का भी सम्मान है। मुख्यमंत्री ने विश्वास व्यक्त किया कि उनके कुशल नेतृत्व में देश की सीमायें और अधिक सुरक्षित रहेंगी तथा हमारे सैन्य बलों का मनोबल और ऊँचा होगा।



डॉ. अमिता उप्रेती स्वास्थ्य महानिदेशक नियुक्त 



देहरादून। शासन ने डॉ. अमिता उप्रेती को स्वास्थ्य महानिदेशक नियुक्त किया है। वह एक अक्टूबर को कार्यभार ग्रहण करेंगी। वर्तमान स्वास्थ्य महानिदेशक डॉ. आरके पांडेय 30 सितंबर को सेवानिवृत्त हो रहे हैं।

डॉ. अमिता उप्रेती मूलरूप से पिथौरागढ़ के बेरीनाग की रहने वाली हैं। पिता के सेना में होने के कारण उनकी प्रारंभिक शिक्षा मुम्बई, दार्जिलिंग, पटियाला और बेरीनाग में हुई। हाईस्कूल और इंटर उन्होंने एमकेपी इंटर कॉलेज से किया। जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज कानपुर से उन्होंने स्त्री और प्रसूति रोग में पीजी किया। डॉ. उप्रेती की साल 1986 में सरकारी चिकित्साधिकारी के पद पर जनपद नैनीताल में पहली तैनाती हुई। वह बीडी पांडे चिकित्सालय नैनीताल और जेएलएन चिकित्सालय रुद्रपुर में प्रमुख चिकित्सा अधीक्षक के पद पर भी कार्यरत रहीं। जेएलएन चिकित्सालय में तैनात रहते उन्होंने अस्पताल को भारत सरकार की कायाकल्प योजना के तहत प्रथम पुरस्कार दिलवाया। डॉ. उप्रेती कुमाऊं मंडल की निदेशक के पद पर तैनात रहीं और पिछले एक वर्ष से स्वास्थ्य निदेशक के पद पर स्वास्थ्य महानिदेशालय में तैनात हैं। अब वह स्वास्थ्य महानिदेशक के रूप में कमान संभालेंगी। स्वास्थ्य सचिव नितेश कुमार झा ने शुक्रवार को इस बावत आदेश कर दिए हैं। डॉ. उप्रेती दो वर्ष से ऊपर डीजी हेल्थ रहेंगी। जबकि उनके पहले जो अधिकारी रहे उनका बड़ा ही सूक्ष्म कार्यकाल रहा है।


उत्तराखण्ड राष्ट्रीय फिल्म संवर्धन हितैषी राज्य पुरस्कार से सम्मानित 



देहरादून, गढ़ संवेदना । विश्व पर्यटन दिवस उत्तराखण्ड पर्यटन के लिए एक नई सौगात लेकर आया। विज्ञान भवन, नई दिल्ली में आयोजित राष्ट्रीय पर्यटन पुरस्कार समारोह में मुख्य अतिथि उपराष्ट्रपति एम0 वेंकैया नायडु एवं विशिष्ट अतिथि जुरब पोलोलिकाश्विली, यू0एन0डब्ल्यू0टी0ओ0 के महासचिव तथा पर्यटन/संस्कृति राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) प्रहलाद सिंह पटेल द्वारा उत्तराखण्ड राज्य को राष्ट्रीय फिल्म संवर्धन हितैषी राज्य पुरस्कार से सम्मानित किया। उत्तराखण्ड के पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज, अपर सचिव पर्यटन उत्तराखण्ड शासन सोनिका एवं संयुक्त निदेशक उŸाराखण्ड पर्यटन पूनम चंद द्वारा यह पुरस्कार प्राप्त किया गया।


इसके साथ ही उत्तराखण्ड पर्यटन विकास परिषद द्वारा बी0एस0एफ0 तथा हासा के सहयोग से मालदेवता में एक04 दिवसीय 2दक मालदेवता पैराग्लाईडिंग ऐकोरेसी प्रतियोगिता का शुभारम्भ किया गया, जिसका उद्घाटन महानिदेशक, कानून व्यवस्था अशोक द्वारका द्वारा मालदेवता में किया गया। इसके अतिरिक्त अपरान्ह में  पटेल नगर स्थित होटल मैनेजमेन्ट एवं कैटरिंग संस्थान में विभिन्न कार्यक्रम/संगोष्ठी का आयोजन किया गया। राज्य के नैसर्गिक सौन्दर्य और मनोहारी लोक संस्कृति के परिप्रेक्ष्य में उŸाराखण्ड को फिल्म निर्माण के क्षेत्र में देश के एक महत्वपूर्ण केन्द्र के रूप में विकसित किया जा रहा है। भारत के सबसे सुन्दरतम राज्यों में से एक उŸाराखण्ड अनेक सुरम्य व मनमोहक स्थानों को खुद में समेटे हुए है जो फिल्म उद्योग के लिए आदर्श है। एक तरफ हिमालय की ऊँची-ऊँची चोटियाँ व उससे निकलने वाली गंगा, यमुना  आदि सदानीर नदियाँ हैं, तो दूसरी तरफ देवदार, चीड़  आदि के घने जंगल। यहाँ वन्यजीवों से लेकर प्राचीन पुरातात्विक धरोहर, विश्व प्रसिद्ध चारधाम आदि मंदिरों से लेकर बर्फ से ढ़के पहाड़ किसी भी फिल्म की शूटिंग के लिए आदर्श पृष्ठभूमि प्रस्तुत करते हैं।देश-विदेश के फिल्म निर्माताओं को फिल्म निर्माण के लिए आकर्षित करने के उद्देश्य से राज्य ने एकल खिड़की व्यवस्था ;ैपदहसम ॅपदकवू ैलेजमउद्ध के माध्यम से अपनी फिल्म शूटिंग नीति को आसान बना दिया है जैसे राज्य में निर्मित एवं प्रदर्शित होने वाली फिल्मों को प्रोत्साहन, मनोरंजन कर में छूट, अनुदान, निगम के पर्यटक आवास गृहों में 50 प्रतिशत छूट आदि। जिसके फलस्वरूप अनेक क्षेत्रीय एवं बाॅलीवुड फिल्मों की शूटिंग उŸाराखण्ड राज्य में की गई है।मालदेवता में आयोजित 04 दिवसीय 2दक मालदेवता पैराग्लाईडिंग ऐकोरेसी प्रतियोगिता में देशभर से 60 प्रतिभागियों द्वारा प्रतिभाग किया गया, जिसमें कि विभिन्न राज्यों यथा- अरूणाचल प्रदेश, सिक्किम, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, दिल्ली आदि पैराग्लाईडरों द्वारा अपनी योग्यता का प्रर्दशन किया गया। उद्घाटन के अवसर पर बी0एस0एफ0 के पैरा कमाडेंट राजकुमार नेगी द्वारा कार्यक्रम की रूपरेखा से अवगत कराते हुए बताया गया कि उत्तराखंड में पैराग्लाईडिंग की असीम संभावनाएं हैं। मालदेवता जैसे स्थान को पैराग्लाईडिंग हब के रूप में विकसित किया जा सकता है। आयोजन के दौरान एयर शो हाॅट एयर बैलून, राॅक क्लाईमिंग साईकिलिंग इत्यादि गतिविधियों का भी प्रदर्शन किया गया। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए हासा के अध्यक्ष शुभंग रतूड़ी द्वारा जानकारी दी गई है कि इस चार दिवसीय कार्यक्रम में पर्यटन हेतु टैंडम, पैराग्लाईडिंग, हाॅट एयर बैलूनिंग और कल्चर प्रोग्राम का भी प्राविधान है। इस अवसर पर उत्तराखंड पर्यटन के प्रतिनिधी जसपाल सिंह चैहान द्वारा समारोह में उपस्थित पर्यटकों/प्रतिभागियों का स्वागत करते हुए विश्व पर्यटन दिवस की शुभकामनाएं दी गई। उनके द्वारा अवगत कराया गया है कि उत्तराखंड पर्यटन साहसिक खेलों को प्रोत्साहित करने हेतु भ्रसक प्रयास कर रहा है। 



घाट किनारे चैपाल लगाकर जनता को किया जागरूक 

-जिला गंगा समिति ने नुक्कड़ नाटक के जरिये दिया जागरूकता संदेश 

 

रुद्रप्रयागर। स्वच्छता ही सेवा कार्यक्रम के तहत जिला गंगा समिति ने नगरीय क्षेत्र में गंगा चैपाल का आयोजन किया गया, जिसमें प्रोजक्टर एवं नुक्कड नाटक के माध्यम से नदियों को स्वच्छ एवं निर्मल बनाये रखने के लिए जन जागरूकता का संदेश दिया गया।

नगर क्षेत्र के बेलनी पुल के समीप बने घाट में लगे चैपाल में स्वजल विभाग के जिला परियोजना प्रबन्धक मोहन सिंह नेगी ने नदियांे के किनारे पूजा और धार्मिक अनुष्ठान करने वाले लोगों से स्वच्छता बनाये रखने की अपील की। कहा कि पूजा सामग्री को नदी में डालने के वजाय पौधांे मेें डालें। नदियांे में पूजन सामग्री डाले जाने से प्रदूषण बढ़ता है और जलीय जीवों को भी खतरा हो सकता है। उन्हांेने कहा कि हर व्यक्ति को स्वच्छता के प्रति जागरूक होना होगा। विभिन्न प्रकार की बीमारियां की जननी भी गन्दगी ही है, इसलिए जरूरी है कि अपने आस पास स्वच्छता बनाये रखे। 

इससे पूर्व विकास भवन सभागार में स्वच्छता ही सेवा कार्यक्रम के अन्तर्गत भाषण प्रतियोगिता में स्कूली बच्चांे द्वारा अपने विचार रखे गए व करीब 60 बच्चों ने चित्रकला प्रतियोगिता में प्रतिभाग लिया। स्वच्छता पर भाषण प्रतियोगिता में प्रथम वीनस, द्वितीय काजल व पायल तृतीय स्थान पर रही। चित्रकला प्रतियोगिता में सीनियर वर्ग में प्रथम रोहित कण्डारी, राजकीय इण्टर कालेज रुद्रप्रयाग, द्वितीय कुमारी रूचि अनूप नेगी मेमोरियाल पब्लिक स्कूल एवं अजीत सजवान, श्री गुरूराम राय पब्लिक स्कूल तिलणी तृतीय स्थान पर रहे। जूनियर वर्ग चित्रकला प्रतियोगिता में प्रथम कुमारी प्रगति डंगवाल, ख्रीस्ट ज्योति पब्लिक स्कूल, द्वितीय योगेश, द क्रियेटिव एकेडमी पब्लिक स्कूल एवं रजत, द क्रियेटिव एकेडमी पब्लिक स्कूल के तृतीय स्थान पर रहे। इस अवसर पर एसडीएम बृजेश तिवारी, मुख्य शिक्षा अधिकारी चित्रानन्द काला, सीवीओ डाॅ आर एस नितवाल, जिला शिक्षाधिकारी बेसिक विद्याशंकर चतुर्वेदी, जिला कार्यक्रम अधिकारी हिमांशु बडोला, स्वजल समन्वयक पूरन कापरी, सहित अन्य अधिकारी व जनता उपस्थित थी। 

अधिकारी टीम भावना के रूप में करें कार्यः डीएम मंगेश 


-जोनल एवं सैक्टर मजिस्ट्रेटों को दिया गया एक दिवसीय पंचायत चुनाव प्रशिक्षण 

 

रुद्रप्रयाग। त्रिस्तरीय पंचायत सामान्य निर्वाचन को शान्तिपूर्ण व निष्पक्ष ढंग से सम्पन्न कराने के लिए जिला कार्यालय सभागार में नियुक्त सात जोनल, 47 सैक्टर मजिस्टेªटों को एक दिवसीय प्रशिक्षण दिया गया। उपस्थित अधिकारियों को सम्बोधित करते हुए जिला निर्वाचन अधिकारी मंगेश घिल्डियाल ने कहा कि मतदान प्रक्रिया में प्रत्येक खण्ड को जोन तथा सैक्ट्ररों में विभाजित करके प्रत्येक सेक्ट्ररवार सैक्टर मजिस्टेट व जोनल के लिए एक जोनल मजिस्ट्रेट नियुक्त किया गया है। कहा कि अपने-अपने सम्बन्धित जोन, सेक्ट्रर  में शान्तिपूर्ण तथा निष्पक्ष मतदान प्रक्रिया सम्पन्न कराने में जोनल, सैक्टर मजिस्ट्रेट का अत्यन्त महत्वपूर्ण योगदान रहता है।

जिला निर्वाचन अधिकारी मंगेश घिल्डियाल ने निर्देश दिये कि सभी जोनल व सैक्टर मजिस्ट्रेट उनके अन्तर्गत आने वाले मतदान केन्द्रों व मतदान स्थलों का भ्रमण कर उनके नाम, संख्या, स्थिति, मतदाताओं की संख्या आदि की सूचना दो दिन के भीतर पंचस्थानी कार्यालय को प्रेषित करना सुनिश्चित करें। कहा कि निर्वाचन प्रक्रिया को संपंन कराने के लिए एक टीम भावना के रूप में सभी को कार्य करना होगा। जिला निर्वाचन अधिकारी ने कहा कि किसी भी परेशानी व संशय की स्थिति में सम्पर्क कर समस्या का समाधान करा ले। राज्य निर्वाचन आयोग समय-समय पर जारी दिशा-निर्देशों का अध्ययन कर तदनुसार ही कार्य करना सुनिश्चित करें। इस दौरान नोडल अधिकारी प्रशिक्षण कपिल पांडेय व बीऐन पुरोहित ने उपस्थित जोनलध्सैक्टर मजिस्ट्रेट को उनके दायित्वों व निर्वाचन प्रक्रिया के दौरान अपनाये जाने वाले कार्यों के बारे में विस्तार पूर्वक जानकारी प्रदान की। इस दौरान उन्हें निर्वाचन प्रक्रिया के दौरान आदर्श आचार संहिता, उम्मीदवारों के द्वारा किये जाने वाले चुनाव प्रचार, उनके द्वारा किये जाने वाली सभायें व जुलूस, मतदान दिवस के दिन उम्मीदावारों से अपेक्षा और राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा जारी विभिन्न दिशा-निर्देशों की जानकारी पावर पाइंट के माध्यम से दी गयी। प्रशिक्षण में समस्त अधिकारियों को मतपेटियों को खोलने व सील बन्द करने का व्यवहारिक प्रशिक्षण भी दिया गया। बताया कि निर्वाचन के दिन ग्राम पंचायत सदस्य के लिए सफेद, ग्राम प्रधान के लिए हरा, क्षेत्र पंचायत सदस्य के लिए नीला व जिला पंचायत सदस्य के लिए गुलाबी मतपत्रों का प्रयोग किया जाएगा। हिन्दी वर्णमाला के अनुसार प्रत्याशियों को निर्वाचन चिन्ह आवंटित किए जाते हे। इस अवसर पर सीडीओ सरदार सिंह चैहान, एसडीएम सदर बृजेश तिवारी, जखोली एन एस नगन्याल, ऊखीमठ वरूण अग्रवाल, सीवीओ डाॅ आर एस नितवाल, सहायक जिला निर्वाचन अधिकारी अतुल भट्ट, कम्पयूटर अनुदेशक किशन रावत सहित समस्त सैक्टर व जोनल अधिकारी उपस्थित थे।

नवरात्रों के नौ दिन आचार्य बालकृष्ण केदारनाथ धाम में रहेंगे मौजूद


-रुद्रप्रयाग में अलकनंदा नदी किनारे स्थित पंतजलि केन्द्र का किया निरीक्षण 

-27 सितंबर को करेंगे केदारनाथ के ऊपर स्थित वासुकीताल का भ्रमण

 

रुद्रप्रयाग। पंतजलि योगपीठ हरिद्वार के महामंत्री एवं योगगुरू बाबा रामदेव के करीबी आचार्य बालकृष्ण केदारनाथ यात्रा पर पहुंचे हैं। आचार्य बालकृष्ण सात अक्टूबर तक केदारनाथ में ही मौजूद रहेंगे। इस बीच पांच अक्टूबर को योगगुरू बाबा रामदेव भी केदारनाथ पहुंचेंगे। केदारनाथ पहुंचने से पूर्व आचार्य बालकृष्ण ने रुद्रप्रयाग और श्रीनगर के बीच में धारी देवी मंदिर के निकट सिरोबगड़ में अलकनंदा नदी किनारे स्थित पंतजलि केन्द्र में पहुंचे। अलकनंदा नदी किनारे और घने जंगल के बीच में स्थित इस केन्द्र में पंतजलि की ओर से स्थानीय स्तर पर उत्पादित होने वाले मक्का, कददू, लाल एवं हरि मिर्च को बोया गया है। इसके अलावा यहां अनेक प्रकार की जड़ी-बूटी भी लगाई गई हैं। यहां उत्पादित होने वाली सब्जियों को देवप्रयाग के मूल्यागांव में स्थित पंतजलि आश्रम में पढ़ने वाले अनाथ बच्चों के लिये भेजी जाती है। धारी देवी मंदिर के निकट स्थित पंतजलि केन्द्र के जंगल में चंदन के पेड़ भी लगाये गये हैं। इस क्षेत्र में यह पेड़ सिर्फ यही स्थित हैं। 

पंतजलि केन्द्र का निरीक्षण करते हुये आचार्य बालकृष्ण ने कहा कि पंतजलि का उददेश्य है कि पहाड़ में होने वाले पलायन पर रोक लगे और यहां के गरीब काश्तकारों को लाभ पहुंचे। पूरे गढ़वाल क्षेत्र में पंतजलि कई क्षेत्रों में कार्य कर रहा है। जड़ी-बूटी से लेकर साग-सब्जियां उगाई जा रही हैं और इन क्षेत्रों में कार्य करने वालों को रोजगार दिया जा रहा है। पंतजलि आज सर्वश्रेष्ठ संस्थानों में एक है। देवप्रयाग के निकट मूल्या गांव में केदारनाथ आपदा में अनाथ बच्चों को पढ़ाया जा रहा है। गढ़वाल क्षेत्र में भी अनेक प्रकार के कार्य किये जा रहे हैं। हरिद्वार के अलावा गंगोत्री, आदि क्षेत्रों में भी पंतजलि जनता के जीवन को उन्नत बनाने के लिये कार्य कर रही है। अपनी केदारनाथ यात्रा के बारे में आचार्य बालकृष्ण ने बताया कि वह केदारनाथ पहुंचकर केदारनाथ धाम के ऊपर स्थित वासुकीताल का भी भ्रमण करेंगे। पूरे नवरात्र में सात अक्टूबर तक वहीं रहेंगे। नवरात्रों में केदारनाथ में देश एवं सम्पूर्ण मानव के कल्याण के लिये साधना की जायेगी।

नियमित उपचार से पूरी तरह रोगमुक्त होंगे क्षय रोगी  


 

रुद्रप्रयाग। स्वास्थ्य विभाग के तत्वावधान में आयोजित जिला टीबी फोरम की बैठक में क्षय उन्मूलन अभियान को सफल बनाने का संकल्प लिया गया। इस अवसर पर उपचार प्रदाताओं के साथ टीबी रोगी रहे उन मरीजों को टीबी चैंपियन के सम्मान से नवाजा गया जो टीबी से डटकर मुकाबला कर पूरा उपचार लेते हुए अब स्वस्थ जीवन व्यतीत कर रहे हैं। 

बैठक में जिलाधिकारी मंगेश घिल्डियाल ने स्वास्थ्य विभाग को अधिक से अधिक क्षय रोगी खोजकर उन्हें समुचित उपचार देने के लिए निर्देशित किया। उन्होंने क्षय उन्मूलन अभियान 2024 को सफल बनाने के लिये प्रत्येक चिकित्सा इकाई से छाती रोग से पीड़ित रोगी को नजदीकी बलगम जांच केन्द्र में सदर्भित कर, संदर्भण दर वृद्धि सुनिश्चित करने के निर्देश भी दिए। वरिष्ठ जिला क्षय अधिकारी डाॅ जेएस नेगी ने क्षय रोग एवं जनपद अन्तर्गत क्षय रोग की स्थिति के बारे में जानकारी दी गयी। उन्होंने टीबी फोरम के सदस्यों से क्षय रोग के प्रति समाज में फैली भ्राॅन्तियों को दूर करने के लिए जागरूकता में सहयोग की अपील की। उन्होंने कहा कि टीबी रोग माइकोबैक्टीरियम ट्यूबरकुलोसिस रोगाणु के संक्रमण के कारण होता है और यदि रोगी नियमित रूप से 6 माह का उपचार पूर्ण करे, तो वह पूरी तरह से सामान्य व्यक्ति की तरह ही ठीक हो जाता है। यदि पूरी तरह ठीक होने से पहले उपचार बीच में ही छोड़ दिया जाय, तो बैक्टीरिया की दवाओं के खिलाफ प्रतिरोधक क्षमता विकसित हो जाती है और एमडीआरटीबी हो जाती है एवं उपचार 18 माह से 24 माह तक चलाया जाता है, क्योंकि इस दशा में आम दवाईयां असर नहीं करती हैं। साथ ही अवगत कराया गया कि प्रत्येक पंजीकृत रोगी को उपचार के दौरान प्रति माह 500 रूपये पोषण भत्ता दिया जाता है तथा क्षय रोगी के प्रथम सूचना दाता को 500 रूपये प्रोत्साहन राशि दी जाती है। जिलाधिकारी श्री घिल्डियाल के हाथों टीबी रोग उपचार प्रदाता एवं टीबी रोगियों को प्रशस्ति पत्र एवं शाॅल भेंट कर टीबी चैम्पियन के रूप में सम्मानित किया गया।

गृहे गृहे गायत्री यज्ञ उपसना वर्ष के लिए केन्द्रीय टोलियो का प्रशिक्षण हुआ समाप्त

हरिद्वार। समाज को नई दिशा देने का कार्य धर्म तंत्र का है। धर्म तंत्र से लोक शिक्षण हो तो समाज आगे बड़ेगा। परम पूज्य गुरदेव पंडित श्री राम  शर्मा आचार्य जी ने गायत्री परिवार की नीव इसी आधार पर खड़ी की है। समर्पित भाव से समाज सेवा करना और अपने अनुभवो को समाज हेतु समर्पित करना हर लोक सेवी का लक्ष्य होना चाहिए यह बात अखिल विश्व गायत्री परिवार प्रमुख श्रद्धेय डॉ प्रणव पंड्या ने आज गृहे गृहे गायत्री यज्ञ उपसना वर्ष हेतु केन्द्रीय टोलियो का प्रशिक्षण के समापन पर कही। डॉ पंड्या ने कहा की वानप्रस्थ परंपरा और परिव्रजाक परंपरा आज की महती आवश्यकता है। समाज को अपने अनुभवो के आधार पर ज्ञान का प्रदान करना वानप्रस्थ का धर्म है। और परिवाजाक सतत चरैवेति चरैवेति के  सिद्धांत को अपनाता है। श्रद्धेयशैल दीदी ने सभी टोली में प्रस्थान करनेवाले भाईओ को उज्जवल भविष्य की कामना की। कार्यक्रम विभाग के अनुसार शांतिकुंज द्वारा 2019 -2020 के लिए देश भर में होने वाले  गृहे गृहे गायत्री यज्ञ उपसना  हेतु 7 दिनों तक प्रशिक्षण चला जिसमे 75 वानप्रस्थ और परिव्रजाको ने शिक्षण लिया। यह प्रतिभागी आगामी 1 ओक्टोबर से देश भर के450 से अधिक जिलों में निकलेंगे। उत्तर प्रदेश ,मध्य प्रदेश ,बिहार ,गुजरात ,36 गढ़ सहित पूर्वोतर भारत में यह कार्यकर्त्ता निकलेंगे। इस से पूर्व शांतिकुंज के वरिष्ठ मनीश्री वीरेश्वर उपाध्याय कपिल केसरी वर्मा ,कालीचरण शर्मा,  ओ.पी. शर्मा आदि भाईओ ने प्रतिभागओ को संबोधित किया। 

एचआरडीए की अवैध निर्माणों के खिलाफ बड़ी कारवाई

हरिद्वार। हरिद्वार-रूड़की विकास प्राधिकरण ने अवैध निर्माण के खिलाफ बड़ी कार्रवाई करते हुए कनखल के पुरूषोत्तम विहार में बिना मानचित्र स्वीकृति के निर्माणाधीन आवासीय इकाईयों को सील कर दिया।  लंबे समय के बाद एचआरडीए ने बड़े स्तर पर इस तरह की कार्रवाई को अंजाम दिया। दीपक रावत नेे एचआरडीए में वीसी पद व सरदार हरवीर सिंह ने सचिव पद की जिम्मेदारी संभालने के बाद से विभागीय अधिकारी भी अवैध निर्माणों के खिलाफ खासे सक्रिय और धरातल कारवाई करते दिखाई देने लगे हैं।फिलहाल में अवैध निर्माणों पर एचआरडीए की कारवाई का शिकंजा कसने में आई तेजी के चलते बिल्डरों में खासा हड़कंप मचा हुआ है। तमाम कायदे-कानूनों को ताक पर रखकर तीर्थनगरी में अवैध निर्माण कार्य जोरो पर हैं।

एचआरडीए से प्राप्त जानकारी के अनुसार एचआरडीए की टीम ने अवैध निर्माणों के खिलाफ सिलसिलेवार कारवाई करते हुए कनखल पुरूषोत्तम विहार स्थित एक अपार्टमैंट परिसर में धर्मपाल द्वारा अवैध रूप से निर्माणाधीन अपार्टमैंट , ललतारावपुल पर अवैध रूप से निर्माणाधीन दुकान व भोपतवाला में अनाधिकृत तरीके से किया जा रहा निर्माणाधीन होटल पर सील लगाने की कारवाई की हैं। कनखल पुरूषोत्तम विहार में अवैध तरीके से किए जा रहे आपार्टमैंट की काफी शिकायते मिलने के बाद एचआरडीए ने अनाधिकृत रूप से बिल्डिंग निर्माण किए जाने के संबंध में धारा 27 व धारा 28 के तहत निर्माणकर्ता को नोटिस जारी किए थे। मगर निर्माणकर्ता द्वारा नोटिस का संतुष्टिपूर्ण जबाब दाखिल नहीं किए जाने की स्थिति में एचआरडीए अधिकारियों ने बीते दिनों निर्माण सील करने के आदेश दिए थे । जिसके अनुपालन में विभागीय टीम द्वारा निर्माणाधीन अपार्टमैंट पर सील लगाने की कारवाई की गई। उधर सचिव हरवीर सिंह का कहना हैं कि अवैध निर्माण पर किसी भी दशा में ढील नहीं दी जाएगी। जल्द बड़े स्तर पर कुछ और कार्रवाई को अंजाम दिया जाएगा। सीलिंग टीम में एई पंकज पाठक, जेई राजेन्द्र बहुगुणा ,उमापति भट्ट व गोविन्द सिंह सहित विभागीय कर्मी शामिल रहे।

जनता के करों एवं चालानों से प्राप्त धनराशि को जनहित के कार्यों में व्यय किया जाएः यादव  

हरिद्वार। अन्तर्राष्ट्रीय उपभोक्ता कल्याण समिति के प्रदेश अध्यक्ष रामनरेश यादव ने कहा है कि केन्द्र तथा राज्य सरकारें जन समस्याओं के समाधान के प्रति संवेदनशील नहीं है और सभी सरकारों को चाहिए कि वे जनता के करों एवं चालानों से प्राप्त धनराशि को जनहित के कार्यों में व्यय कर जनता का विश्वास अर्जित करें।

प्रेस को जारी एक बयान में उन्होंने बताया कि पूरे देश में डेंगू तथा वायरल फीबर जैसी बीमारियों से जनता त्रस्त है और चिकित्सलयों में उपचार के लिए स्थान कम पड़ रहे हैं। प्रतिवर्ष अगस्त एवं सितम्बर माह में डेंगू जैसी बीमारी और प्याज के दाम बढ़ते हैं ऐसा पिछली सरकारों में भी होता रहा है लेकिन हमारे देश की कार्यपालिका एवं विधायिका इतनी असंवेदनशील हो चुकी है कि वह देश की मरती जनता को मारने के लिए अनावश्यक करों को थोप कर तानाशाही का खुला ताण्डव कर रही है। उन्होंने डेंगू, वायरल तथा सड़क दुर्घटनाओं में मरने वालों को पांच-पांच लाख रुपये की मुआवजा राशि देने की मांग करते हुए कहा कि देशकी जनता पर जितने कर बढ़ रहे हैं उसी औसत में नेताओं एवं सरकारी कर्मचारियों के वेतन तथा भत्ते बढ़ते जा रहे हैं जो देश की जनता के साथ नाइंसाफी और लोकतांत्रिक व्यवस्था का अपमान है। उन्होंने केन्द्र तथा राज्य सरकारों से मांग की है कि डेंगू वायरल जैसी बीमारियों को रोकने के लिए सरकारें कार्य करंे तथा जब तक देश की सड़कें तथा यातायात व्यवस्था दुरुस्त न हो तब तक के लिए नए लागू हुए मोटर व्हीकल एक्ट को निलम्बित कर जनता को स्वतंत्र देश का नागरिक होने का एहसास कराये। 

रामलीला कमेटी ने अपने रंगमंच पर रामजन्म की लीला का किया भव्य मंचन   

हरिद्वार। धर्मनगरी में बड़ी रामलीला के नाम से विख्यात श्रीरामलीला कमेटी ने अपने रंगमंच पर रामजन्म की लीला का भव्य मंचन कर सम्पूर्ण समाज में हर्ष एवं उल्लास के वातावरण का संचार किया तथा भारत को अतीत से गौरवान्वित करने वाले दशरथ दरबार, विष्णु लोक एवं इन्द्र दरबार की अद्भुत छटा और संस्कृति ने दर्शकों का मन मोह लिया।

श्रीरामलीला कमेटी ने अपने रंगमंच के चैथे चरण का शुभारम्भ करते हुए दिखाया कि जब असुर एवं अभिमानियों के बढ़ने से धर्म की हानि होती है तो भगवान स्वयं अवतरित होकर लोक कल्याण करते हैं और राक्षसों के अत्याचार से व्यथित होकर पृथ्वी नारद को साथ लेकर जब देवराज इन्द्र के दरबार में गयी तो इन्द्र ने सभी देवताओं के साथ क्षीर सागर में श्रीहरि नारायण से प्रार्थना की। श्रीहरि ने स्वयं यह घोषणा की कि वे शीघ्र ही धराधाम पर अवतरित होकर दुष्प्रवृत्तियों का दमन करेंगे। विधि का विधान ही था कि अयोध्या के राजा दशरथ को अपने चैथे पन पर जाने से राजसत्ता के संचालन हेतु पुत्र की चाहत हुई श्रीरामलीला कमेटी ने अपने रंगमंच से भारत की उस संस्कृति का दर्शन कराया जिसमें यज्ञ एवं अनुष्ठान के माध्यम से असंभव को भी संभव बनाया जा सकता है और श्रृंगी ऋषि ने यज्ञ कर उसके प्रसाद से ही राजा दशरथ को चार पुत्रों का पिता बनने का सौभाग्य प्रदान किया। रंगमंच पर बधाई गीतों के साथ श्रीरामजन्म की खुशियां मनायी गयीं तथा आयोजकों ने भगवान श्रीराम के दिव्य स्वरुप की आरती उतार कर विश्व कल्याण की कामना की। रंगमंच का संचालन प्रवक्ता विनय सिंघल एवं डाॅ. संदीप कपूर ने संयुक्त रुप से किया तथा निर्देशन मुख्य दिग्दर्शक भगवत शर्मा 'मुन्ना' एवं कमेटी के महामंत्री महाराजकृष्ण सेठ ने किया। शुक्रवार को रंगमंच पर पुष्प वाटिका, परशुराम तपस्या तथा जनकपुरी के रोमांचकारी दृश्यों का दर्शन कराया जायेगा। श्रीरामलीला के रंगमंच सहित सम्पूर्ण व्यवस्था को सकुशल सम्पन्न कराने में श्रीरामलीला कमेटी के अध्यक्ष वीरेन्द्र चड्ढा, सम्पत्ति कमेटी के मंत्री रविकान्त अग्रवाल, उपाध्यक्ष सुनील भसीन, कोषाध्यक्ष रविन्द्र अग्रवाल, रमन शर्मा, डाॅ. रमेश खन्ना, कन्हैया खेवड़िया, राहुल वशिष्ठ, सुनील वधावन, अनिल सुखीजा, साहिल मोदी, दर्पण चड्ढा, तथा विकास सेठ सहित सम्पूर्ण कार्यकारिणी का महत्वपूर्ण योगदान रहा।  

आवेदन जमा करने की अंतिम तिथि 27 सितम्बर

हरिद्वार। प्रधानाचार्य राजकीय आई0टी0आई0 हरिद्वार मनमोहन कुडियाल ने अवगत कराया कि राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान हरिद्वार, विशिष्ट आई0टी0आई0 रोशनाबाद, डेलना, नारसन, लक्सर, पिरान कलियर, सिकरौड़ा, खानपुर में एन0सी0वी0टी0 व्यवसायों में सत्र 2019 हेतु अवशेष सीटों पर संस्थान स्तर पर मैनुअल काउंसलिंग द्वारा प्रवेश की कार्यवाही की जानी है।

पूर्व में आवेदन किये गये अभ्यर्थिंयों तथा अन्य अर्ह अभ्यर्थिंयों में से प्रवेश से वंचित अभ्यर्थियों द्वारा संबंधित संस्थान से निशुल्क आवेदन पत्र प्राप्त किया जा सकता है।

पूर्व में आवेदन कर चुके अभ्यर्थिंयों से इतर अभ्यर्थिंयों द्वारा शुल्क पृथक से देय होगा। आवेदन पत्र के साथ सभी शैक्षिक अर्हता, आरक्षण प्रमाण पत्र जमा कराना आवश्यक है। संस्थान स्तर से आवेदन प्रत्र प्राप्त करने एवं जमा करने की अंतिम तिथि 27 सितम्बर 2019 समय सांय 05ः00 बजे तक है। सम्बन्धित व्यवसाय हेतु मेरिट सूची का प्रकाशन 29 सितम्बर 2019 को अपराह्न 02ः00 बजे किया जाएगा। संस्थान में प्रवेश लेने की अंतिम तिथि 29 से 30 सितम्बर 2019 है। इस संबंध में अधिक जानकारी के लिए अभ्यर्थी सम्बन्धित राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान से सम्पर्क कर सकते हैं।  

शराब फैक्ट्रियों को लेकर सरकार को जगाने के लिए गंगा किनारे पूजन कर किया प्रदर्शन 


 

हरिद्वार। देवभूमि सिविल सोसायटी द्वारा शराब फैक्ट्रियों को बंद कराने के खिलाफ 25 दिन से लगातार चल रहे आंदोलन के तहत आज सरकार को जगाने के लिए हर की पौड़ी मालवीय दीप पर गंगा पूजन के साथ गंगाजल हाथ में लेकर गंगा किनारे खुल रही शराब फैक्ट्रियों को बंद कराने के लिए गंगा किनारे खड़े होकर सभी संतो एवं गंगा प्रेमियों ने संकल्प लिया और हर की पौड़ी से ढोल,मंजरी,शंखनाद व भजन, कीर्तन करते हुए देवपुरा चैक धरना स्थल तक पैदल यात्रा निकाली गई। इस अवसर पर हिंदू रक्षा सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी प्रबोधानंद ने कहा कि उत्तराखंड देवभूमि है यहां पर शराब की बिक्री नहीं होनी चाहिए मुख्यमंत्री को पहाड़ों पर आयुर्वेद की फैक्ट्रियां लगानी चाहिए, आयुर्वेद को बढ़ावा देना चाहिए जिससे लोगों को रोजगार मिलेगा और हमारा प्रदेश देवभूमि उत्तराखंड को आयुर्वेद प्रदेश कहा जाएगा, उन्होंने मुख्यमंत्री पर आरोप लगाते हुए यह भी कहा किं रोज-रोज मुख्यमंत्री हरिद्वार में ही पड़े रहते हैं उन्हें ऊपर पहाड़ों पर भी जाना चाहिए और वहां की समस्याओं को सुनना चाहिए वह हरिद्वार में क्यों आते हैं सभी को पता है? पंडित अधीर कौशिक ने कहा कि हमें कुछ भी करना पड़े लेकिन मां गंगा के किनारे फैक्ट्रियों को नहीं लगने दिया जाएगा एक तरफ तो उत्तराखंड हमारी देवभूमि है वहीं पर शराब की फैक्ट्रीयां लगाई जा रही है जो मां गंगा को दूषित करेंगी ऐसा घोर अनर्थ हम इस सरकार को नहीं करने देंगे चाहे हमें कैसा भी आंदोलन करना पड़े। इस अवसर पर इस यात्रा में भाग लेने वाले भारत साधु समाज, शिवसेना हरिद्वार, सामाजिक सेना,परशुराम सेना, हिंदू रक्षा सेना, युवा हिंदू सेना,श्री ब्राह्मण सभा,सामाजिक सेना, चयनित राज्य आंदोलनकारी समिति,ब्राह्मण अंतरराष्ट्रीय संगठन, महिला अधिकार संगठन,  देवभूमि सिविल सोसाइटी के उपाध्यक्ष प्रमोदानंद महाराज, राजाराम ब्रह्मचारी, स्वामी सत्यानंद सरस्वती,घ् स्वामी कमलेश रनजीत,योगेंद्र आनंद, स्वामी मधुसुदन दास, हेमा रावल, शोभा वर्मा,सरिता पुरोहित, रोहित शर्मा, भागवत अचार्य पवन कृष्ण शास्त्री, उमेश कुमार, सूरज कुमार, जेपी पांडे,  अश्वनी सैनी,  ज्ञान दल पंडित, आचार्य विष्णु पंडित, आचार्य धिरेन्द्र पंडित, महेंद्र शर्मा, पंकज सैनी, विवेक मिश्रा, जे पी बडोनी आदि ने भाग लिया।

Thursday, 26 September 2019

पलायन रोकने को द्वारी गांव के आशाराम ने जगाई आशा की किरण


घनसाली/पिलखी,वीरेंद्र दत्त गैरोला। उत्तराखंड के पर्वतीय क्षेत्र से जहां लोग रोजगार की तलाश में बड़ी संख्या में लगातार शहरों की ओर पलायन कर रहे हैं वहीं, कुछ लोग ऐसे भी हैं जो कि गांव में ही रोजगार के साधन विकसित कर उजड़ते गांवों को बचाने का काम कर रहे हैं। ऐसे ही एक युवक हैं टिहरी जिले के भिलंगना विकासखंड के द्वारी गांव निवासी आशाराम नौटियाल। आशाराम नौटियाल ने गांव में बड़ी इलायची की लाभकारी खेती शुरु कर रोजगार के अवसर सृजित करने का काम किया है। उनके द्वारा गांव में करीब 23 नाली क्षेत्र में इलाचयी की खेती की जा रही है। आशाराम नौटियाल के इस कार्य से पलायन के चलते जन शून्य की ओर बढ़ते इस गांव में पलायन को रोकने की दिशा में एक आशा की किरण दिख रही है। रोजगार की तलाश में शहरों की ओर पलायन करने वाले युवाओं के लिए आशाराम प्रेरणासा्रेत हैं।
सरकार पलायन को रोकने के दावे करती है लेकिन उसके यह दावे खोखले ही साबित हो रहे हैं। जो लोग गांव में ही रोजगार के साधन विकसित कर पलायन को रोकने की दिशा में ईमानदारी से काम कर रहे सरकार यदि थोड़ा उनकी मदद कर ले तो निश्चित रूप से पलायन की समस्या का समाधान हो सकता है, लेकिन सरकार इस दिशा में गंभीर नहीं दिखती है। भिलंगना ब्लॉक के द्वारी गांव के काश्तकार आशाराम नौटियाल ने गांव में बड़ी इलायची की खेती शुरु कर गांव से पलायन कर रहे युवाओं को आइना दिखाया है। घनसाली-पिलखी क्षेत्र के द्वारी गांव निवासी आशाराम नौटियाल उन युवाओं के लिए प्रेरणास्रोत है जो रोजगार की तलाश में पहाड़ से पलायन कर रहे हैं। आशाराम बताते है कि 14 वर्ष पूर्व उन्होंने बड़ी इलायची का एक पौधा अपने खेत की मेढ़ पर लगाया था। जिस पर फसल लगने के बाद उन्होंने इसकी खेती करने का मन बनाया। धीरे-धीरे उन्होंने बड़े स्तर पर इसका उत्पादन शुरु किया। अब वह करीब 23 नाली क्षेत्र में इलाचयी का उत्पादन कर रहे हैं। स्थानीय बाजार में उचित मूल्य न मिलने के कारण उन्हें देहरादून के बाजार में यह इलाचयी बेचनी पड़ती है। इससे वह दो लाख रुपये प्रतिवर्ष की आमदनी प्राप्त कर रहे है। उनके द्वारा गांव में माल्टा, नींबू, हल्दी, अदरक की खेती की भी शुरु की गई है। आशाराम इलाइची का उत्पादन अपने दम पर कर रहे हैं, उद्यान विभाग द्वारा उनकी कोई मदद नहीं की जा रही है। उनका कहना है कि उन्होंने उद्यान विभाग से इस उत्पादन क्षेत्र में इलाइची की खेती को जंगली जानवरों से बचाने के लिए घेरवाड़ करने की मांग की जा रही है लेकिन उद्यान विभाग द्वारा इस ओर ध्यान नहीं दिया जा रहा है। सरकार के उपेक्षित रवैये से आशाराम खिन्न हैं।


कार्यदायी संस्थाओं को उनकी क्षमता के अनुसार कार्य आवंटित किये जाएंः सीएम 


-निर्माण कार्यों की गुणवत्ता का रखा जाए विशेष ध्यान

-विभागीय निर्माण कार्यो को समय से पूर्ण कराना है विभागाध्यक्षों की नैतिक जिम्मेदारी

 

देहरादून। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने गुरूवार को सचिवालय में विभिन्न विभागों में कार्यदायी संस्थाओं के माध्यम से सम्पन्न कराये जा रहे निर्माण कार्यों की समीक्षा की। उन्होंने विभागाध्यक्षों को निर्देश दिये कि कार्यदायी संस्थाओं की कार्य क्षमता एवं दक्षता का आंकलन करने के पश्चात ही उन्हें निर्माण कार्य सौंपे जाएं। ग्रामीण अभियन्त्रण विभाग की कार्य क्षमता के दृष्टिगत उन्हें 10 करोड़ के कार्य आवंटन पर भी मुख्यमंत्री ने सहमति प्रदान की, पूर्व में यह सीमा 5 करोड़ निर्धारित थी।

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने विभिन्न विभागों के अन्तर्गत किये जा रहे निर्माण कार्यों की धीमी प्रगति पर नाराजगी व्यक्त करते हुए कार्यों को निर्धारित अवधि के अन्दर पूर्ण करने के स्पष्ट निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि निर्माण कार्यों का समय पर पूर्ण न होने से उसकी लागत बढ़ने के साथ ही आम जनता को उसका लाभ भी समय पर नहीं मिल पाता है इसके लिये विभागाध्यक्षों को स्वयं भी स्थिति का आंकलन करना चाहिए जो उसकी नैतिक जिम्मेदारी भी है।

मुख्यमंत्री ने यह भी निर्देश दिये कि निर्माण कार्यों के लिये स्वीकृत धनराशि अविलम्ब आवंटित की जाये ताकि इसके लिये संस्थाओं को अनावश्यक रूप में सचिवालय के चक्कर न लगाने पड़े। उन्होंने निर्माण कार्यों को समय पर पूर्ण करने के लिये कार्य संस्कृति में बदलाव लाने तथा कार्यावधि बढ़ाये जाने पर बल दिया। निर्माण कार्यों में तेजी लाने, गुणवत्ता पर विशेष ध्यान देने के साथ ही 5 करोड़ से अधिक के कार्यों का थर्ड पार्टी आडिट की अनिवार्य व्यवस्था बनाने, पुलों व अन्य बड़े तकनीकी क्षमता के कार्य स्थलों पर सीसीटीवी कैमरे की भी व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश भी मुख्यमंत्री ने दिये। उन्होंने विभागीय कार्यदायी संस्थाओं को अपनी क्षमता का आंकलन कर निर्माण कार्य अपने हाथ में लेने को कहा, साथ ही यह भी निर्देश दिये कि उन्हीं संस्थाओं को बड़े कार्य दिये जाएं जिनकी इन कार्यों के लिये पूरी क्षमता हो।

मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने कार्यदायी संस्थ्ेााओं को स्पष्ट निर्देश दिये कि वे एक साथ 10 काम हाथ में न लें, इससे कार्यों को पूर्ण करने में विलम्ब होता है। वे अपनी क्षमता के अनुसार ही कार्य हाथ में लें तथा एक योजना पूर्ण करने के बाद ही दूसरी शुरू करें। इससे कार्यों के बेहतर परिणाम प्राप्त हो सकेंगे।

बैठक में सचिव वित्त अमित नेगी ने प्रस्तुतीकरण के माध्यम से बताया कि प्रदेश की कार्यदायी संस्थाओं में ब्रिडकुल, पेयजल निगम, जीएमवीएन, केएमवीएन, आर,ईएस, कृषि विपणन बोर्ड, लोक निर्माण व सिंचाई विभाग को विभिन्न विभागों के 1361.61 करोड़ के 267 कार्य आवंटित किये गये हैं, जबकि प्रदेश के बाहर की संस्थाओं उ.प्र. राजकीय निर्माण निगम, ब्रिज एण्ड रूफ कम्पनी इंडिया, एन.बी.सी.सी व एन.पी.सी.सी को 3271.35 करोड़ के 361 कार्य आवंटित किये गये हैं। बैठक में अपर मुख्य सचिव ओमप्रकाश, प्रमुख सचिव, मनीषा पंवार, सचिव भूपिन्दर कौर औलख, नीतेश झा, प्रेम सिंह खिमाल, हरवंश सिंह चुग, अरविंद सिंह हयांकी के साथ ही विभिन्न विभागों के विभागाध्यक्ष व केन्द्रीय लोक निर्माण विभाग एच.एस.सी.एल, ईपी आई एल वाप्कोश के साथ ही अन्य कार्यदायी संस्थाओं के प्रतिनिधि उपस्थित रहे।

भारतीय विदेश सेवा के अधिकारियों ने की सीएम से भेंट 


देहरादून। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत से गुरूवार को सचिवालय में भारतीय विदेश सेवा के अधिकारियों मालविका प्रियदर्शनी तथा जितेन्द्र रावत ने शिष्टाचार भेंट की। उन्होंने प्रदेश से सम्बन्धित विभिन्न विषयों पर मुख्यमंत्री से चर्चा की।

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि हिमालयी राज्य उत्तराखण्ड की अन्तर्राष्ट्रीय सीमायें नेपाल व चीन से जुड़ी है। उत्तराखण्ड का प्राकृतिक सौन्दर्य एवं शांत वातावरण पर्यटकों के आकर्षक का केन्द्र रहा है, यहां के चारधाम देश व दुनिया के श्रद्वालुओं की आस्था का केन्द्र है, पर्यटन हमारी आर्थिकी का मजबूत आधार है। बड़ी संख्या के फिल्मकार फिल्मांकन के लिए प्रदेश में आ रहे हैं। राज्य में युवाओं को स्वरोजगार के बेहतर अवसर प्रदान करने की दिशा में कारगर प्रयास किये जा रहे हैं। सड़क, रेल व हवाई सेवाओं के विकास में तेजी से कार्य किया जा रहा है। राज्य के प्रति निवेशकों का रूझान भी बढ़ा है। बड़ी संख्या में उद्यमी राज्य में निवेश के लिए आ रहे हैं। इस अवसर पर अपर सचिव प्रदीप रावत भी उपस्थित थे।

75 अतिक्रमणों का ध्वस्तीकरण किया गया 


देहरादून। न्यायालय के निर्देशों के क्रम में देहरादून शहर में मसूरी-देहरादून विकास प्राधिकरण, लोक निर्माण विभाग, नगर निगम, पुलिस विभाग एवं जिला प्रशासन देहरादून द्वारा जन सामान्य हेतु बनाये गये फुटपाथों, गलियों, सड़कों एवं अन्य स्थलों पर किये गये अनधिकृत निर्माणों एवं अवैध अतिक्रमणों में ध्वस्तीकरण, चिन्हीकरण व सीलिंग का कार्य जारी रहा। 26 सितम्बर को इस अभियान के अन्तर्गत 75 अतिक्रमणों का ध्वस्तीकरण व 200 अतिक्रमणों का सीमांकन व 22 अतिक्रमणों के चिन्हीकरण के कार्य सम्पादित करने के साथ ही अतिक्रमण किये गये 89 भवनों के सीलिंगध्पार्किंग स्थलों पर संबंधित व्यक्तियों के विरूद्ध नोटिस भी जारी किये गये है।

अपर मुख्य सचिव ओमप्रकाश ने बताया कि अवैध अतिक्रमण हटाने का कार्य अतिक्रमण हटाओ टास्क फोर्स द्वारा तीव्रता के साथ किया जा रहा है। ओमप्रकाश ने कहा कि जिन-जिन स्थानों में ध्वस्तीकरण की कार्यवाही सुनिश्चित की जा रही है, उन स्थानों में ट्रैफिक को डायवर्ट किया जा रहा है, जिससे की यातायात सुचारू रूप से चल सके एवं ध्वस्तीकरण का कार्य सुगमता से हो सके। उन्होंने आम जनमानस से अपील की है कि वे इस कार्य में अपना सहयोग प्रदान करते हुए संयम बरते तथा धैर्य का परिचय देते हुए अवैध अतिक्रमणों के ध्वस्तीकरण की कार्यवाही में अपना सहयोग प्रदान करें। शहर में अवैध अतिक्रमण हटाने के अभियान में मा.न्यायालय के दिशा-निर्देशों का शत्-प्रतिशत पालन किया जा रहा है।

श्री ओमप्रकाश ने अधिकारियों को निर्देश दिये है कि अपने विभाग से संबंधित कार्यों को समयबद्धता के साथ पूरा करें। जिसमें सड़कों का चैड़ीकरण, डामरीकरण व सौंदर्यीकरण आदि कार्य तेज गति से किया जाना सुनिश्चित किये जाए। लोनिवि के अधिकारियों को सड़क का समतलीकरण, डामरीकरण के कार्य पूरा करने व विद्युत विभाग के अधिकारियों को भी अपने विभाग से संबंधित कार्य जल्द से जल्द पूरा करने के निर्देश दिये। जिसमें ट्रांसफार्मर, बिजली की लाइन, विद्युत पोल, एचटी व एलटी लाइनों से संबंधित विभिन्न कार्य किये जायेंगे।

उन्होंने आम-जनमानस से पुनः अपील की है कि यदि जाने-अनजाने में भूलवश किसी ने सरकारी भूमि पर अतिक्रमण किया है, तो वे स्वयं ही उन अतिक्रमणों को शीघ्रता से हटा दें ताकि किसी प्रकार की अप्रिय कार्यवाही न करनी पडे। उन्होंने कहा कि अवैध अतिक्रमण के संबंध में यदि कोई जानकारी देना चाहता है, तो अध्यक्ष अतिक्रमण हटाओ टास्क फोर्स को इसकी सूचना महिला औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान, सर्वे चैक स्थित आई.आर.डी.टी. सभागार में दे सकते है। अपर मुख्य सचिव ओमप्रकाश ने बताया कि देहरादून शहर के मुख्य मार्गों सहित नगर निगम की सीमा में आने वाले अवैध अतिक्रमणों को हर हालत में हटाया जायेगा। उन्होंने निर्देश दिये कि उक्त कार्य से संबंधित समस्त विभागों के अधिकारियों एवं कर्मचारियों द्वारा अनधिकृत निर्माणों एवं अतिक्रमणों की सूचना उपलब्ध न कराये जाने, अतिक्रमणकारियों को किसी भी प्रकार से सहायता पहुंचाये जाने एवं मा.न्यायालय के आदेश के विरूद्ध कार्य किये जाने का यदि कोई प्रकरण संज्ञान में आयेगा, तो संबंधित अधिकारीध्कार्मिक को मा.न्यायालय के आदेश की अवहेलना मानते हुए उनके खिलाफ तत्काल कार्यवाही सुनिश्चित की जायेगी। उन्होंने कहा कि उक्त आदेशों का कड़ाई से अनुपालन सुनिश्चित किया जाए।

लाइसेंस नवीनीकरण की एवज में रिश्वत लेने के मामले में फूड सेफ्टी अधिकारी को पांच साल का कारावास 


नैनीताल। जिला जज एवं विशेष न्यायाधीश राजीव खुल्बे की कोर्ट ने फूड सेफ्टी अधिकारी को लाइसेंस नवीनीकरण के एवज में रिश्वत लेने के मामले में पांच साल का कारावास व 15 हजार जुर्माने की सजा सुनाई है। फूड सेफ्टी अधिकारी के खिलाफ 20 हजार रुयए घूस लेने का मामला है। दोषी अफसर को  हिरासत में लेकर जेल भेज दिया गया। 

11 मार्च 2013 को वर्षा स्वीट्स कैंट रोड कुमौड़ पिथौरागढ़ के व्यवसायी जगदीश प्रजापति ने विजीलेंस हल्द्वानी को शिकायती पत्र भेजा था। इसमें आरोप था कि जिला अभिहीत अधिकारी अर्चना सागर फूड लाइसेंस नवीनीकरण के एवज में उनसे रिश्वत की डिमांड कर रही हैं। प्रारंभिक जांच में आरोपों की पुष्टि के बाद विजीलेंस टीम ने 16 मार्च 2013 को आरोपित को 20 हजार रुपये की घूस लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया। उसी दिन अर्चना के खिलाफ हल्द्वानी में भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया। आरोपित के खिलाफ एंटी करप्शन कोर्ट नैनीताल में चार्जशीट दायर की गई। संयुक्त निदेशक विधि डीएस जंगपांगी ने अभियोजन की ओर से प्रभावी पैरवी करते हुए आठ गवाह पेश किए। गुरुवार को कोर्ट ने आरोपित को दोषी पाते हुए पांच साल का कारावास व 15 हजार जुर्माने की सजा सुनाई है।

साले ने की जीजा की हत्या, शव के टुकड़े कर खेत में दबा दिए


हरिद्वार। लक्घ्सर क्षेत्र के महराजपुर कला गांव से दो सप्ताह से लापता पंकज की उसके साले ने हत्या कर दी और उसके टुकड़े करने के बाद शव को खेत में दबा दिया। पुलिस ने आरोपित को गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी की निशानदेही पर खेत में दबाये गए शव को भी बरामद कर लिया है।

लक्सर कोतवाली में मामले का खुलासा करते हुए सीओ राजन सिंह ने बताया कि लक्सर कोतवाली क्षेत्र के महाराजपुर कला गांव निवासी पंकज पुत्र विशंभर 13 सितंबर को संदिग्ध परिस्थितियों में लापता हो गया था। पंकज के भाई वीर सिंह ने 17 सितंबर को उसकी गुमशुदगी दर्ज कराई थी। पंकज की बाइक उसकी ससुराल सिधडू गांव में बरामद हुई थी। सीओ ने बताया कि पुलिस मामले की जांच कर रही है, इस दौरान मृतक के सगे साले समेत आधा दर्जन संदिग्घ्ध लोगों से पूछताछ की गई। इस दौरान पुलिस को कुछ सुराग हाथ लगे। इस पर पुलिस ने मृतक के साले नीटू पुत्र प्रेमचंद निवासी ग्राम सीधडू को हिरासत में लेकर शक्ति से पूछताछ की तो उसने पंकज की हत्या की बात स्वीकार कर ली। उसकी निशानदेही पर पुलिस ने पंकज का शव सिधडू गांव से गन्ने के खेत से बरामद कर लिया है। सीओ ने बताया कि पूछताछ में आरोपी ने बताया कि 13 सितंबर को पंकज नीटू की पत्नी को बाइक पर ससुराल छोड़ने के लिए गया था। यहां नशा होने पर नीटू उसे वापस महाराजपुर छोड़ने गया, जहां उसने नीतू को कोई चुभने वाली बात बोल दी। इसके बाद नीटू पहले पंकज को वापस अपने गांव सिधडू लाया। इसके बाद उसने उसे शाम को दोबारा वहां बुलाया रात को दोनों ने गांव के बाहर नदी किनारे बैठकर शराब पी। पंकज को नशा होने के कारण नीटू ने उसकी गला दबाकर हत्या कर दी। हत्या के बाद शव को उसने नदी में फेंक दीया। तीन दिन बाद जब वह देखने गया तो पंकज का शव फुल कर बाहर आ गया था। इसके बाद उसने पंकज के शव के चार टुकड़े कर दिए और बोरी में बंद कर खेत में गड्ढा खोदकर दबा दिया। मामले में आरोपी के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कर लिया है।

साधु समाज भारत को विश्व गुरु का दर्जा दिलाने की ताकत रखताः मोहन भागवत


हरिद्वार। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के प्रमुख मोहन भागवत ने कहा कि संत समाज का आचरण मर्यादा के अनुरुप होना चाहिए। कहा कि साधु समाज भारत को विश्व गुरु का दर्जा दिलाने की ताकत रखता है। देश में संतों का सम्मान सर्वोपरि है।


हरिद्वार स्थित पतंजलि योगपीठ में संघ के धर्म जागरण विभाग की ओर से आयोजित साधु स्वाध्याय संगम के अंतिम आयोजित सत्र को संबोधित करते हुए भागवत ने कहा कि सिर्फ साधु-संत होना ही पर्याप्त नहीं है, गरिमा के अनुरुप आचरण से ही संत समाज आदर्श बन सकेगा और लोगों की आस्था भी बनी रहेगी।

उन्होंने कहा कि  आज आवश्यकता है संत समाज देश में सामाजिक समरसता को स्थापित करने में अपनी भूमिका का निर्वाह करें। कहा कि हिंदू धर्म में अनादि काल से पेड़-पौधों की पूजा की परंपरा रही है। आज ग्लोबल वार्मिंग से पर्यावरण खतरे में हैं। पर्यावरण की रक्षा में साधु-संत महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। वर्तमान में गाय, गंगा और वृक्ष सबको भी संरक्षित करने की आवश्यकता है। इससे पहले योग गुरू बाबा रामदेव ने संघ प्रमुख मोहन भागवत का स्वागत किया। रामदेव ने कहा संत समाज देश को प्रगति के पथ पर ले जाने के लिए प्रतिबद्ध है। कहा कि भारत विश्व का मार्गदर्शन कर सकता है।


शराब फैक्ट्रियों को लेकर सरकार को जगाने के लिए गंगा किनारे पूजन कर किया प्रदर्शन 


हरिद्वार। देवभूमि सिविल सोसायटी द्वारा शराब फैक्ट्रियों को बंद कराने के खिलाफ 25 दिन से लगातार चल रहे आंदोलन के तहत आज सरकार को जगाने के लिए हर की पौड़ी मालवीय दीप पर गंगा पूजन के साथ गंगाजल हाथ में लेकर गंगा किनारे खुल रही शराब फैक्ट्रियों को बंद कराने के लिए गंगा किनारे खड़े होकर सभी संतो एवं गंगा प्रेमियों ने संकल्प लिया और हर की पौड़ी से ढोल,मंजरी,शंखनाद व भजन, कीर्तन करते हुए देवपुरा चैक धरना स्थल तक पैदल यात्रा निकाली गई। इस अवसर पर हिंदू रक्षा सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी प्रबोधानंद ने कहा कि उत्तराखंड देवभूमि है यहां पर शराब की बिक्री नहीं होनी चाहिए मुख्यमंत्री को पहाड़ों पर आयुर्वेद की फैक्ट्रियां लगानी चाहिए, आयुर्वेद को बढ़ावा देना चाहिए जिससे लोगों को रोजगार मिलेगा और हमारा प्रदेश देवभूमि उत्तराखंड को आयुर्वेद प्रदेश कहा जाएगा, उन्होंने मुख्यमंत्री पर आरोप लगाते हुए यह भी कहा किं रोज-रोज मुख्यमंत्री हरिद्वार में ही पड़े रहते हैं उन्हें ऊपर पहाड़ों पर भी जाना चाहिए और वहां की समस्याओं को सुनना चाहिए वह हरिद्वार में क्यों आते हैं सभी को पता है? पंडित अधीर कौशिक ने कहा कि हमें कुछ भी करना पड़े लेकिन मां गंगा के किनारे फैक्ट्रियों को नहीं लगने दिया जाएगा एक तरफ तो उत्तराखंड हमारी देवभूमि है वहीं पर शराब की फैक्ट्रीयां लगाई जा रही है जो मां गंगा को दूषित करेंगी ऐसा घोर अनर्थ हम इस सरकार को नहीं करने देंगे चाहे हमें कैसा भी आंदोलन करना पड़े। इस अवसर पर इस यात्रा में भाग लेने वाले भारत साधु समाज, शिवसेना हरिद्वार, सामाजिक सेना,परशुराम सेना, हिंदू रक्षा सेना, युवा हिंदू सेना,श्री ब्राह्मण सभा,सामाजिक सेना, चयनित राज्य आंदोलनकारी समिति,ब्राह्मण अंतरराष्ट्रीय संगठन, महिला अधिकार संगठन,  देवभूमि सिविल सोसाइटी के उपाध्यक्ष प्रमोदानंद महाराज, राजाराम ब्रह्मचारी, स्वामी सत्यानंद सरस्वती,घ् स्वामी कमलेश रनजीत,योगेंद्र आनंद, स्वामी मधुसुदन दास, हेमा रावल, शोभा वर्मा,सरिता पुरोहित, रोहित शर्मा, भागवत अचार्य पवन कृष्ण शास्त्री, उमेश कुमार, सूरज कुमार, जेपी पांडे,  अश्वनी सैनी,  ज्ञान दल पंडित, आचार्य विष्णु पंडित, आचार्य धिरेन्द्र पंडित, महेंद्र शर्मा, पंकज सैनी, विवेक मिश्रा, जे पी बडोनी आदि ने भाग लिया।

पूर्व सीएम हरीश रावत देहरादून में देंगे पहाड़ी ककड़ी व गेंठी की दावत


देहरादून, गढ़ संवेदना। कांग्रेसी दिग्गज और पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत अब  पहाड़ी ककड़ी व गेंठी की दावत के साथ हाजिर होने जा रहे हैं। वह 28 सितंबर को देहरादून में यह दावत आयोजित कर रहे हैं।


सियासी मोर्चे पर भले ही हरीश रावत पिछले तीन सालों से कोई चमत्कार नहीं दिखा पा रहे हैं, इसके बावजूद उनकी सक्रियता में कोई कमी नहीं आई है। प्रदेश कांग्रेस में इस दौरान मतभेदों की तमाम चर्चाओं के बावजूद पिछले दिनों स्टिंग प्रकरण में नैनीताल हाईकोर्ट में मामले की सुनवाई से पहले पार्टी पूरी तरह उनके पीछे खड़ी नजर आई।  हरीश रावत अपनी तरह-तरह की दावतों के लिए भी अकसर चर्चा में रहते हैं। वह कभी आम की दावत, कभी काफल और कभी पहाड़ी व्यंजनों की दावत आयोजित कर अपने समर्थकों के बीच अपनी मौजूदगी दर्ज कराते रहे हैं। इस तरह की दावतों को पर्वतीय क्षेत्रों के मुद्दों को लेकर हरदा की अलहदा सियासत के रूप में भी देखा जाता रहा है। आगामी शनिवार को हरीश रावत पहाड़ी ककड़ी (खीरा) की दावत आयोजित कर रहे हैं। इसका जिक्र उन्होंने सोशल मीडिया में पोस्ट कर भी किया है। रावत के मुताबिक पहाड़ी ककड़ी और रायता के अलावा इसमें मेहमानों का परिचय उच्च हिमालयी क्षेत्र में पाई जाने वाली गेठी (एक तरह का कंद) से भी कराया जाएगा। इन्हें उबाल कर खाया जाता है। गेठी औषधीय गुणों से भरपूर होती है और इससे मधुमेह को नियंत्रण में रखने में मदद मिलती है।


आइए जानते हैं क्या है पहाड़ी ककड़ी और गेंठी


पहाड़ी ककड़ी: पहाड़ी ककड़ी सामान्यतः ककडी या खीरा नाम से जानी जाती है. उच्च पर्वतीय क्षेत्र उगायी जाने वाली ककडी अपने खास स्वाद की वजह से आज अपने आप में एक ब्रांड है जिसको सिर्फ खाने पश्चात ही समझा जा सकता है. अत्यधिक मांग में रहने वाली पहाड़ी ककड़ी उत्तराखण्ड में बहुतायत उगायी जाती है. इसका वैज्ञानिक नाम Cucumis sativus L. जो की Cucurbitaceae कुल के अंतर्गत आती है. विश्वभर में लगभग सभी जगह उगायी जाने वाली ककडी को अनेकों नामों से जाना जाता है जैसे कि खीरा, ककडी- उर्दू, पेपिनो-स्पेनीस, हुआंग गुआ- चाइनीज, क्यूरी- जापानीस, पिपिगंगना-श्रीलंका आदि. इसके अलावा पूरे देश में लगभग 1600 मी0 (समुद्रतल से) तक की ऊंचाई पर उगाई जाने वाली ककडी को हिन्दी में खीरा, ककडी, बंगाली में साउसा, तमिल में वेलारिका, तेलगू में कीरा डोस्लाया, कन्नड में सवातेकाई, मराठी में सितालचीनी, गुजराती में ककडी, असम में तियोह आदि नामों से जाना जाता है।
पहाड़ी ककड़ी का उत्पादन पर्वतीय क्षेत्रों में बिना किसी रासायनिक खाद तथा अन्य कीटनाशक की सहायता से किया जाता है जिसके कारण इसकी अत्यधिक मांग रहती है. पहाड़ी ककड़ी की कीमत मैदानी क्षेत्रों में उगायी जाने वाली ककडी से अधिक होने के बाद भी बाजार में ज्यादा पसंद की जाती है. उत्तराखण्ड के कुमाऊं तथा गढवाल क्षेत्रों में पहाड़ी ककड़ी का खूब उत्पादन किया जाता है, जो कि स्थानीय काश्तकारों को आर्थिकी का मजबूत विकल्प है. पहाड़ी ककड़ी में प्राकृतिक मिनरल्स तथा विटामिन्स प्रचूर मात्रा में हाने के कारण स्थानीय लोगों द्वारा कृषि कार्यों के दौरान खेतों में एक ऊर्जा के विकल्प में खूब पंसद किया जाता है. पहाड़ी ककड़ी का प्रदेशभर में अच्छा उत्पादन किया जाना चाहिए ताकि इसे प्रदेश की आर्थिकी का ओर मजबूत विकल्प बनाया जा सकें. उत्तराखण्ड में पारम्परिक रूप से पहाडी ककडी को कीचन गार्डन तथा पारम्परिक फसलों के बीच में उगाई जाती है.
सामान्यतः ककडी का उपयोग खाने में सलाद तथा रायते में किया जाता है लेकिन इसके अलावा इसको विभिन्न खाद्य पदार्थों में मिलाकर भी प्रयोग में लाया जाता है जैसे कि पर्वतीय क्षेत्रों में इससे 'बडी' बनायी जाती है. घरेलू उपयोग के अलावा इसका उपयोग कॉस्मेटिक उत्पाद, आयुर्वेदिक औषधियां तथा एनर्जी ड्रिंक्स बनाने में भी किया जाता है. इसमें एल्केलॉइडस, ग्लाइकोसाइड्स, स्टेरोइड्स, केरोटीन्स, सेपोनिन्स, अमीनो एसिड, फलेवोनोइड्स तथा टेनिन्स आदि रासायनिक अवयव पाये जाते है. ककडी में पोषक तत्व तथा मिनरल्स प्रचूर मात्रा में पाये जाते है तथा इसमें मौजूद विटामिन्स-'ए', 'बी' तथा 'सी' की मात्रा होने से यह शरीर की प्रतिरोधक क्षमता बढाने में सहायता करती है. इसमें ऊर्जा-16 किलो कैलोरी, कार्बाइाइड्रेट- 3.63g, डाइटरी फाइबर- 0.5g, वसा- 0.11 g, प्रोटीन- 0.65 g, फोलेट्स- 7.0 मी0g, विटामिन 'बी'- 0.25 Mg, विटामिन 'सी'- 2.8 Mg, विटामिन 'k – 16.4 Mg, सोडियम- 2.0 Mg, पोटेशियम- 14.7 Mg, फोस्फोरस- 24 Mg, कैल्शियम- 16 Mg, कॉपर- 0.17 Mg, आयरन- 0.3 Mg, मैग्नीशियम- 13 Mg, मॅग्नीज़ – 0.08 Mg, फ्लोराइड- 1.3 Mg तथा जिंक- 0.2 Mg तक की मात्रा में पाये जाते है। 


————————————————–


गेंठी (गींठी): इसे कंद की सब्जी भी कहा जाता है। अपने आप में ये कई कुदरती खूबियों को समेटे हुए है। इस सब्जी को दक्षिण पूर्व एशिया और अफ्रीका में भी उगाया जाता है। खास बात ये भी है कि चरक संहिता और सुश्रुवा संहिता में गेंठी (गींठी) का स्थान दिव्य अट्ठारह पौधों में दिया गया है।




Wednesday, 25 September 2019

जयंती पर याद किए गए पंडित दीनदयाल उपाध्याय 


-भारतीय चिंतन पर आधारित था पं. दीनदयाल उपाध्याय का राजनीतिक दर्शनः सीएम


 

देहरादून। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने बुधवार को पं. दीनदयाल उपाध्याय के जन्म दिवस के अवसर पर तहसील चैक स्थित पं. दीनदयाल उपाध्याय पार्क में उनकी मूर्ति पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि दी। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने स्कूली बच्चों को बैग भी वितरित किये।

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि पं. दीनदयाल उपाध्याय का राजनीतिक दर्शन भारतीय चिंतन पर आधारित था। उनका मानना था कि देश तभी खुशहाल व समृद्ध हो सकता है, जब समाज के अन्तिम पंक्ति पर खड़े गरीबों का उत्थान हो। गरीबों के कल्याण के लिए वे निरन्तर प्रयासरत रहे। वे एकात्म मानव दर्शन की परिकल्पना को लेकर आगे बढ़े। पं. दीनदयाल उपाध्याय जी के प्रति हमारी सच्ची श्रद्धांजलि यही होगी कि अन्त्योदय की परिकल्पना को लेकर जो उन्होंने प्रयास किये, इस दिशा में समाज के अन्तिम व्यक्ति तक सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं की पहुंच हो। केन्द्र व राज्य सरकार पं. दीनदयाल उपाध्याय द्वारा दिये गये जीवन दर्शन का अनुसरण करते हुए समाज के हर वर्ग के लोगों के लिए विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाएं चला रही हैं। इसके पश्चात् मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने बलवीर रोड स्थित भाजपा कार्यालय में पं.दीनदयाल उपाध्याय जी के चित्र पर माल्यार्पण किया। इस अवसर पर उच्च शिक्षा राज्य मंत्री डा. धन सिंह रावत, मेयर सुनील उनियाल गामा, विधायक खजानदास, भाजपा के प्रदेश उपाध्यक्ष ज्योति प्रसाद गैरोला, विनय गोयल, अनिल गोयल, पुनीत मित्तल आदि उपस्थित थे।


12वीं के छात्र ने दुष्कर्म की कोशिश में असफल होने पर की 48 वर्षीय महिला की हत्या


रुद्रपुर। पिछले कुछ दिनों में तीन महिलाओं की हत्घ्या से रुद्रपुर में दहशत का माहौल है। गत दिवस बीएसएनएल कर्मी की पत्घ्नी की बेरहमी से हत्घ्या कर दी गई। पुलिस ने एक दिन बाद आज बुधवार को हत्घ्यारोपित को गिरफ्तार कर घटना का खुलासा कर दिया है। लेघ्किन हत्घ्या के जो कारण सामने आए हैं वह जितना विभत्घ्स है उतना ही शर्मशार करने वाला भी। 12वीं में पढ़ने वाले हत्घ्यारोपित छात्र ने 48 साल की महिला की हत्घ्या दुष्घ्कर्म करने की कोशिश में असफल होने पर की है। हत्घ्या में इस्घ्तेमाल किया गया चाकू और खून में सना कपड़ा भी बरामद कर लिया गया है। 

कोतवाली में खुलासा करते हुए एसएसपी बरिंदर जीत सिंह ने बताया बीएसएनएल कर्मी की पत्नी रीता सिंह पर पड़ोस में रहने वाला युवक राहुल मिश्रा पुत्र रामप्रसाद मिश्रा बुरी नियत रखता था। मंगलवार को रीता को घर में अकेला देख वह घर मे घुस गया और दुष्कर्म का प्रयास किया, लेकिन रीता ने अपने बचाव के लिए चाकू उठा लिया। चाकू राहुल के हाथ में भी लगा, उसके बाद राहुल ने रीता से चाकू छीनकर उसको चाकू से बुरी तरह गोद दिया। जिससे उसकी मौत हो गयी। घरवालों की सूचना पर पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए राहुल को नवोदय स्कूल के पास से गिरफ्तार कर लिया। वह ट्रेन पकड़ भागने की फिराक में था।

हत्या के बाद अपने आपको बचाने के भी प्रयास राहुल ने किया। उसने पहले अपने हाथ बाथरूम में धोये, उसके बाद घर का सामान उथल पुथल कर माहौल लूट का दिखाने की भी कोश्घ्ािश की। लेकिन उसके पिता की सूचना पर पुलिस ने उसे दबोच लिया। पुलिस के मुताबिक मूलरूप से लखनऊ, उत्तर प्रदेश निवासी रतिभान सिंह भारत संचार निगम लिमिटेड में लाइन मैन है। वह 48 साल की पत्नी रीता सिंह और छोटी पुत्री रेखा के साथ बीएसएनएल काॅलोनी के सेकेंड फ्लोर पर रहते हैं। रतिभान सिंह के दो पुत्र दिल्ली में काम करते हैं, जबकि बड़ी पुत्री का विवाह हो चुका है। रतिभान सोमवार को किसी काम से गांव गए हुए थे। घर में उनकी पत्नी रीता सिंह और पुत्री रेखा ही थे। मंगलवार सुबह रेखा स्कूल चली गई। बताया जा रहा है कि दोपहर साढ़े 12 बजे के आसपास रीता के घर में पहले फ्लोर पर रहने वाले लाइन मैन रामा प्रसाद मिश्रा का पुत्र राहुल घुस गया। इस दौरान उसने दुष्घ्कर्म करने में असफल होने पर रीता पर चाकू से एक के बाद एक कई वार कर दिए। गंभीर रूप से घायल होने के कारण उनकी मौत हो गई। 

दहेज हत्या के मुकदमे में नामजद पति गिरफ्तार


हरिद्वार। नवविवाहिता की दहेज हत्या के मुकदमे में नामजद पति को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। ससुराल पक्ष के अन्य लोगों की जांच की जा रही है।

पुलिस के मुताबिक रानीपुर कोतवाली क्षेत्र की विष्णुलोक कॉलोनी निवासी भेलकर्मी वकील प्रसाद के बेटे श्याम सुंदर की शादी बीते 15 मई को ग्राम कैथोरा, पोस्ट बनकटी, जिला बस्ती उत्तर प्रदेश निवासी मनोज कुमार की बेटी पूनम से हुई थी। मायके वालों का आरोप है कि भेलकर्मी के परिवार ने दहेज में 80 हजार की नगदी मांगी। शादी के समय परिवार ने जैसे-तैसे इंतजाम कर 50 हजार रुपये नगद दे दिए थे। बाकी 30 हजार रुपये बाद में इंतजाम कर देने के लिए कहा गया था। 

आरोप है कि शादी के बाद से श्याम सुंदर व उसके घर वाले 30 हजार रुपये के लिए दबाव बना रहे थे। मायके वाले पैसों का इंतजाम नहीं कर पा रहे थे। जिस कारण पूनम को ससुराल में परेशान किया जा रहा था। बीते शुक्रवार की शाम 26 वर्षीय पूनम ने अपने कमरे में फांसी लगाकर खुदकशी कर ली। पूनम के पिता मनोज ने रानीपुर कोतवाली में उसके पति श्याम सुंदर, ससुर वकील प्रसाद और सास शांति देवी के खिलाफ दहेज हत्या का मुकदमा दर्ज कराया था। उपनिरीक्षक आशुतोष चैहान, कांस्टेबल नानक और चंदन की टीम ने आरोपित श्याम सुंदर को फाउंड्री गेट के पास से गिरफ्तार कर लिया। रानीपुर कोतवाल शंकर सिंह बिष्ट ने बताया कि आरोपित को कोर्ट में पेश करते हुए जेल भेज दिया गया है। बाकी नामजद आरोपितों की भूमिका की जांच की जा रही है।

किशोरी के साथ छेड़छाड़ व अश्लील हरकत करने के मामले में कोर्ट केे आदेश पर दर्ज हुआ मुकदमा 


हरिद्वार। पथरी क्षेत्र में किशोरी के साथ छेड़छाड़ और अश्लील हरकत करने के मामले में पुलिस ने कोर्ट के आदेश पर एक युवक के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है। किशोरी को उसकी मां ने युवक की बाइक पर बैठाकर चाची के घर छोडने के लिए कहा था। आरोप है कि रास्ते में उसने किशोरी के साथ अश्लील हरकत की। पुलिस ने कोर्ट के आदेश पर पोक्सो एक्ट में मुकदमा दर्ज कर लिया है।

पुलिस के मुताबिक लक्सर कोतवाली क्षेत्र के एक गांव की रहने वाली महिला ने कोर्ट में प्रार्थना पत्र देकर बताया कि उनका राजपाल पुत्र बाल्ला निवासी धनपुरा के घर पर आना जाना था। 13 मई को महिला नाबालिक बेटी को अपनी रिश्तेदारी में जगजीतपुर छोडने जा रही थी। उसे बीच में धनपुरा गांव रिश्तेदारी में जाकर घर लौटना था। महिला धनपुरा बस स्टैंड पर खड़ी थी, तभी वहां राजपाल बाइक पर आ गया। महिला के पूछने पर उसने कनखल जाने की बात कही। महिला ने बेटी को उसकी बाइक पर बैठा दिया और कहा कि जगजीतपुर में उसकी चाची के घर छोड़ दे। बेटी को युवक की बाइक पर बैठाकर महिला घर चली गई। कुछ देर बाद किशोरी रोती हुई धनपुरा रिश्तेदारी में पहुंची और अपनी मां को आपबीती सुनाई। आरोप है कि राजपाल ने फेरुपुर गांव से बाहर एक आम के बगीचे में अपनी बाइक रोकी और किशोरी के साथ अश्लील हरकत करने लगा। किशोरी ने शोर मचाया तो उसे जान से मारने की धमकी देकर वहां से भाग निकला। किशोरी रोते हुए धनपुरा स्थित रिश्तेदारी में पहुंची और आपबीती सुनाई। उसके बाद महिला किशोरी को लेकर फेरुपुर चैकी पहुंची। मगर उसकी कोई सुनवाई नहीं हुई। जिसके बाद महिला ने मामले की गुहार कोर्ट से लगाई है। एसओ पथरी सुखपाल मान ने बताया कि कोर्ट के आदेश पर पुलिस ने आरोपित राजपाल के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी है। 

दो से अधिक बच्चों वाले जिपं और बीडीसी पद के प्रत्याशियों को झटका


नैनीताल। हाईकोर्ट ने दो से अधिक संतान वाले जिला व क्षेत्र पंचायत सदस्य प्रत्याशियों को चुनाव लडने से अयोग्य करार देने के प्रावधान पर रोक लगाने का अंतरिम आदेश पारित करने से इनकार कर दिया है। मामले में कोर्ट ने सरकार व राज्य निर्वाचन आयोग को चार सप्ताह में जवाब दाखिल करने के निर्देश दिए हैं। कोर्ट के फैसले के बाद दो से अधिक बच्चों वाले प्रत्याशियों के नामांकन खारिज होना करीब-करीब तय हो चुका है जबकि इससे सरकार को बड़ी राहत मिली है। 


बुधवार को मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति रमेश रंगनाथन व न्यायमूर्ति आलोक कुमार वर्मा की खंडपीठ में अल्मोड़ा के मोहन सिंह मेहरा व अन्य की याचिका पर सुनवाई हुई। जिसमें कहा गया है कि सरकार द्वारा जिला पंचायत व क्षेत्र पंचायत सदस्य पद के लिए दो से अधिक बच्चे वाले प्रत्याशियों को अयोग्य करार देने का नोटिफिकेशन जारी किया है। याचिकाकर्ताओं का कहना था कि सरकार इसे बैक डेट से लागू कर रही है। उन्हें ग्रेस पीरियड भी नहीं दिया गया। सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ताओं के अधिवक्ताओं ने हाईकोर्ट के दो बच्चों से अधिक वाले ग्राम प्रधान के प्रत्याशियों को चुनाव लडने की अनुमति देने व इसके लिए कटऑफ डेट 25 जुलाई 2019 निर्धारित करने को आधार बनाकर उन्हें योग्य करार देने की गुजारिश की। सरकार की ओर से याचिका का विरोध किया गया। मामले को सुनने के बाद अदालत ने सरकार व निर्वाचन आयोग को चार सप्ताह में जवाब दाखिल करने के निर्देश दिए हैं।


दून में 130 अतिक्रमणों का ध्वस्तीकरण किया गया 


देहरादून। न्यायालय के निर्देशों के क्रम में देहरादून शहर में मसूरी-देहरादून विकास प्राधिकरण, लोक निर्माण विभाग, नगर निगम, पुलिस विभाग एवं जिला प्रशासन देहरादून द्वारा जन सामान्य हेतु बनाये गये फुटपाथों, गलियों, सड़कों एवं अन्य स्थलों पर किये गये अनधिकृत निर्माणों एवं अवैध अतिक्रमणों में ध्वस्तीकरण, चिन्हीकरण व सीलिंग का काय जारी रहा।  अपर मुख्य सचिव ओमप्रकाश ने बताया कि 25 सितम्बर को इस अभियान के अन्तर्गत 130 अवैध अतिक्रमण का ध्वस्तीकरण व 237 अतिक्रमणों का सीमांकन व 01 अतिक्रमण का चिन्हीकरण के कार्य सम्पादित करने के साथ ही अतिक्रमण किये गये 101 भवनों के सीलिंगध्पार्किंग स्थलों पर संबंधित व्यक्तियों के विरूद्ध नोटिस भी जारी किये गये है।

अपर मुख्य सचिव ओमप्रकाश ने अतिक्रमण हटाने के दौरान अतिक्रमण हटाओ टास्क फोर्स के अधिकारियोंध्कर्मचारियों को आपसी समन्वय के साथ कार्य करने के निर्देश दिये है, ताकि मा.न्यायालय द्वारा दिये गये आदेशों का शत्-प्रतिशत पालन शीघ्रता से सुनिश्चित किया जा सके। उन्होंने निर्देश दिये है कि मा.न्यायालय के निर्देशानुसार ही बिना भेदभाव के शहर से अतिक्रमण हटाने का कार्य तीव्र गति से सम्पादित करते रहे, जिससे कि आम जनमानस के मन में यह विश्वास पैदा हो कि अतिक्रमण हटाने का कार्य पूरी पारदर्शिता के साथ सम्पादित किया जा रहा है। उन्होंने कहा जिन स्थानों से अतिक्रमण हटाया गया है, उन स्थानों पर पिलर लगाने का कार्य भी तीव्रता के साथ पूरा किया जाए। जिससे कि उन स्थानों पर दुबारा से अतिक्रमण न किया जा सके।

उन्होंने अतिक्रमण हटाओ टास्क फोर्स के अधिकारियों को निर्देश दिये कि मुख्य मार्गों से अतिक्रमण हटाने के कार्य में और अधिक तेजी लाई जाए, जिससे 28 सितम्बर, 2019 तक अवैध अतिक्रमण हटाने का कार्य पूर्ण हो सके। उन्होंने टास्क फोर्स, एम.डी.डी.डी, विद्युत, लोनिवि, सिंचाई, नगर निगम आदि संबंधित विभाग के अधिकारियों को अपने विभाग से संबंधित कार्यों को समयबद्धता के साथ पूरा करने के निर्देश दिये है। ओमप्रकाश ने बताया कि अतिक्रमण हटने के बाद सड़कों के चैड़ीकरण व सौन्दर्यीकरण का कार्य भी चरणबद्ध रूप से प्राथमिकता के आधार पर किया जायेगा, जिससे की आम जन-मानस को किसी भी प्रकार की कोई पेरशानी न हो।ओमप्रकाश ने कहा कि अतिक्रमण हटने के बाद शहर के विभिन्न स्थानों पर लगने वाले ट्रैफिक जाम से निजात मिलेगा। शहर की सड़कों, नाली और फुटपाथ से अवैध अतिक्रमण हटने का लाभ प्रत्येक नागरिक को मिलेगा। सड़कों के सौन्दर्यीकरण के साथ-साथ प्राईवेट पार्किंग, वेन्डिंग जोन व बस स्टॉप का निर्माण किया जाएगा। उन्होंने कहा कि अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही के दौरान जन मानस का सहयोग शासन प्रशासन को मिल रहा है।

Featured Post

मुनस्यारी: उत्तराखंड का मिनी कश्मीर

मुनस्‍यारी: मुनस्‍यारी विशाल हिमालय की तलहटी पर स्थित उत्तराखंड का खूबसूरत हिल स्टेशन है। राज्य के पिथौरागढ़ जिले के अंतर्गत यह पहाड़ी गंतव...